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UPSC PRELIMS 2020 PAPER II -- ANSWER KEYS




BIRD'S EYEVIEW


  • इस स्तर पर, हम छात्रों को प्रांरम्भिक परीक्षा के लिए "कट-ऑफ" के बारे में किन्ही भी अटकलों से बचने का सुझाव देना चाहेंगे। पिछले वर्ष/ वर्षों) की तुलना में उनके बहुत कम होने की संभावना है।
  • कुल मिलाकर सामान्य अध्ययन II पेपर (CSAT) 2020 कठिन था, एवं प्रश्नों का उचित चयन अच्छा स्कोर करने के लिए महत्वपूर्ण है। गद्य न तो तुरंत समझ में आ सकने वाले थे एवं न ही प्रश्न भी प्रत्यक्ष थे। गणित के कई प्रश्न बिल्कुल आसान नहीं थे। इस तरह के पेपर को हल करने की कुंजी यह जानना थी की कौन से प्रश्नो को छोड़ दिया जाना चाहिए।
  • सीसैट 2015 से एक अहर्ता परीक्षण है, यह 2016 में प्रबंधनीय, 2017 में काफी कठिन किन्तु 2018 में उअतना कठिन नहीं था ! 2019 में फिर से कठिन एवं 2020 भी काफी कठिन था।
  • इन वर्षों में पैटर्न में बदलाव: वर्ष 2017 में केवल गद्य, तर्क एवं गणित पूछे गए। 2018 में आँकड़ों की समझ (DI) और दृश्य तार्किकता से कई प्रश्न पूछकर इसे संतुलित किया गया ! 2019 में उन्होंने इसे फिर से "असंतुलित" कर दिया! 2020 में, आँकड़ों की पर्याप्तता पर आधारिक प्रश्नो के साथ वापसी की। सीख: पैटर्न बदलते हैं, तैयार रहें!
  • 2020 परीक्षण संरचना में बड़ा बदलाव: केवल तीन प्रमुख विषयों से प्रश्न पूछे गए। प्रश्नों का वितरण था - गणित एवं संख्याओं पर 39 प्रश्न, पठन योग्यता पर 25 प्रश्न और तर्क एवं विश्लेषण पर 10 प्रश्न। (तुलना तालिका देखें)
  • पठन योग्यता: पठन योग्यता प्रश्न (अंग्रेजी और हिंदी में मिरर कॉपी) कठिन और उत्कृष्ट थे! कुल मिलाकर 25 प्रश्न 20 गद्यांशों पर पूछे गए थे. पिछले वर्ष 20 प्रश्न 24 गद्यांशों पर पूछे गए थे, 2018 में यह आंकड़ा 30 प्रश्न 29 गद्य एवं 2017 में 27 प्रश्न 17 गद्य था, जो यह साबित करता है की उचित गति वाले पाठक ही अच्छा प्रदर्शन कर सकते हैं।
  • गद्य आधारित कई प्रश्न बहुत कठिन थे, और विकल्प भी मुश्किल थे। सभी प्रश्न समसामयिक विषयों (कृषि, रोजगार, आर्थिक उदारीकरण, पर्यावरण, पारिस्थितिकी, ग्लोबल वार्मिंग, विज्ञान और प्रौद्योगिकी, जीव विज्ञान आदि) से थे जिन्हे हम अपनी तैयारी के हिस्से के रूप में दैनिक पढ़ते हैं! हिंदी के छात्रों के लिए तकनीकी हिंदी की कठिनता को दूर करने के लिए हिंदी गद्यों में अंग्रेजी शब्दों को शामिल करने पर ध्यान दिया गया। कुल मिलाकर २० प्रश्न २० गद्यांशों पर पूछे गए हैं (सभी परिच्छेद छोटे आकार के थे, लेकिन आसानी से समझ में नहीं आते)।
  • गणित आसान नहीं: एक बार फिर, गणित आसान नहीं था, और यहां तक कि अंकगणितीय प्रकार के प्रश्नों के लिए भी कुछ काम करना आवश्यक था। मैथ्स-हेटर्स और / या गैर-मैथ्स छात्रों के लिए पूरी तरह से, यह एक समस्या हो सकती है। सिटर 5 से अधिक नहीं थे।
  • सोच आधारित लॉजिकल एवं एनालिटिकल रीजनिंग प्रश्न - जबकि कुछ प्रश्न कठिन नहीं थे, कुल मिला कर आसान नहीं कहा जा सकता।
  • कुल मिलाकर, सीसैट के लिए कुछ वास्तव अभ्यास आवश्यक है। आप बिना किसी तैयारी के इससे सामना करने की उम्मीद नहीं कर सकते । जिन लोगों ने इसे बहुत हल्के में लिया, उन्हे इसकी कीमत चुकाना पड़ सकती है। हमें उम्मीद करते है कि ऐसा किसी के भी साथ न हो। शुभकामनाएँ!
  • आँकड़ों की समझ पर आधारित प्रश्न जो 2018 में एक बड़े पैमाने पर आये थे वे 2019 में पूरी तरह से गायब थे, और 2020 में केवल एक ही प्रश्न पूछा गया था। डेटा पर्याप्तता पर अचानक 5 प्रश्न पूछ लिए गए!
  • एक ईमानदार आशा! हमें पूरी उम्मीद है कि शासन या तो पेपर II सीसैट को भी पेपर I की तरह अनिवार्य कर देगी या इसे पूरी तरह से हटा देगी । वर्तमान प्रारूप में, बहुत कम छात्र इसमें रुचि लेते हैं, और इसे पूर्ण करना औपचारिकता मात्र रह गया है। यह अभ्यास की तीव्रता को कम करता है, और छात्र के मनोबल के लिए अच्छा नहीं है। एप्टिट्यूड एक प्रशासनिक अधिकारी के जीवन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, और इसे केवल अहर्ता परीक्षा नहीं होना चाहिए।


TOPICWISE DISTRIBUTION




DETAILED QUESTIONWISE SOLUTIONS (Set D)


1. योग


में प्रतीक 0 किस अंक को दर्शाता है ?

  1. 2
  2. 3
  3. 4
  4. 5

उत्तर (b). विकल्पों का उपयोग करना यहां सही तकनीक है।

विकल्प (a) -

2 + 12 + 52 + 22 + 21 = 109 (जो 122 नहीं है)। अतः विकल्प (a) गलत है।

विकल्प (b) -

3 + 13 + 53 + 33 + 31 = 133. अतः विकल्प (b) सही है।

किसी भी प्रश्न में, आपको तीन विकल्पों की जांच करने की आवश्यकता होती है, यदि जांच किए गए पहले तीन विकल्प सही नही है तो चौथे को सही होना ही चाहिए (अतः जांच की कोई आवश्यकता नहीं है)।

(आपको सीसैटपेपर के लिए केवल 33% या 66 अंक से अधिक प्राप्त करने होंगे। अतः किसी भी प्रश्न पर बहुत अधिक समय बर्बाद किए बिना प्रश्नों को ध्यान से चुनें एवं करें। यह मुलभूत गणितीय प्रतीकों एवं संचालन पर आधारित एक आसान प्रश्न था, इसे निष्चित ही किया जाना चाहिए था।)

2.यदि आपके पास दो सीधे 7.5 फुट और 3.25 फुट की छड़े हैं, तो आप कम-से-कम कितनी लम्बाई नाप सकते है ?

  1. 0.05 फुट
  2. 0.25 फुट
  3. 1 फुट
  4. 3.25 फुट

उत्तर (a). जब हमें ‘न्यूनतम लंबाई’ मापनी होती है, तो यह दी गई दोनों छड़ियों के की उभयनिष्ठ लंबाई होगी। अतः यहाँ संख्याओं का महत्तम समापवत्र्य (HCF) निकालना होगा ।

सही उत्तर 7.5 एवं 3.25 का HCF है, जो 0.25 है।

(गणना - 750 एवं 325 के HCF का पता लगाएं, एवं फिर दशमलव बिंदु को उचित स्थानों पर रखें)

(आपको सीसैटपेपर के लिए केवल 33% या 66 अंक से अधिक प्राप्त करने होंगे। अतः किसी भी प्रश्न पर बहुत अधिक समय बर्बाद किए बिना प्रश्नों को ध्यान से चुनें एवं करें। यह मुलभूत गणितीय प्रतीकों एवं संचालन पर आधारित एक आसान प्रश्न था, इसे निष्चित ही किया जाना चाहिए था।)

3.अनुक्रम 14, 18, 20, 24, 30, 32, ... की प्रत्येक संख्या में एक सरल गणितीय संक्रिया द्वारा अभाज्य संख्याओं का एक अनुक्रम प्राप्त किया जाता है। निम्न में से कौन-सी अनुक्रम की अगली संख्या है ?

  1. 34
  2. 36
  3. 38
  4. 40

उत्तर (b). दिया गया अनुक्रम है - 14, 18, 20, 24, 30, 32, ....। हमें बताया गया है कि प्रत्येक संख्या में एक सरल गणितीय संक्रिया द्वारा अभाज्य संख्याओं का एक अनुक्रम प्राप्त किया जाता है।

हम देख सकते हैं कि प्रत्येक संख्या से 1 घटाकर, हमें अभाज्य संख्याओं का एक क्रम मिलेगा।

14 – 1 = 13; 18 – 1 = 17; 20 – 1 = 19; 24 – 1 = 23; 30 -1 = 29; 32 – 1 = 31.

तो अगला कार्यकाल 38 - 1 = 37 होगा जो एक अभाज्य संख्या है।

अतः सही विकल्प (c) है।

(एक आसान सवाल, जिसके लिये प्रयास किया जाना चाहिए।)

4.एक पुस्तिका, जिसके पन्ने सामान्य रूप से हैं, पहले पन्ने की संख्या 1 से प्रारम्भ करते हुए अंकित हैं। इस पुस्तिका से एक पन्ना फाड़ लिया जाता है बचे हुए पन्नों पर अंकित पृष्ठ संख्याओं का योग 195 है। फटे हुए पन्नों पर निम्न में से कौन-सी संख्याएँ हैं ?

  1. 5, 6
  2. 7, 8
  3. 9, 10
  4. 11, 12

उत्तर (b).

हम जानते हैं कि द क्रमागत प्राकृतिक संख्याओं का योग = n(n+1)/2

प्राकृतिक संख्या पूर्णांक 1 से शुरू होती है।

प्रश्न में दी गई जानकारी के अनुसार n(n+1)/2 का मान 195 से अधिक होना चाहिए। क्यों? क्योंकि एक पृष्ठ फटा हुआ है।

यदि हम n = 19 लेते हैं तो हमें n(n+1)/2 = 19 × 20/2 = 190 मिलेगा जो 195 से कम है।

अतः अगली संख्या लेते हैं मान लेते हैं n = 20

इस स्थिति में - n(n+1)/2 = 20 × 21/2 = 210. लेकिन दो लगातार संख्याओं को हटा दिया गया था, इसलिए 210 - 195 = 15.

इसका अर्थ यह है कि एक पेज जिसपर दो क्रमागत संख्याओं होंगी का योग 15 होना चाहिए। केवल विकल्प (b) मेल खाता है।

(मूल तर्क एवं संख्याओं पर आधारित प्रश्न। इस प्रश्न का प्रयास न करें। यह जटिल है एवं आप बहुत सारा समय खर्च कर सकते हैं। इससे बचिए।)

5.निम्न विन्यास पर ध्यान दीजिए, जिसमें कुछ लुप्त वर्णन है:

abab_b_bcb_dcdcded_d

लुप्त वर्ण, जो कि विन्यास को पूर्ण करते हैं, हैं

  1. a, b, c, d
  2. a, b, d, e
  3. a, c, c, e
  4. b, c, d, e

उत्तर (c). विन्यास का अवलोकन करने के पश्चात् विभिन्न विकल्पों की जांच करके आप पा सकते हैं कि सही अनुक्रम ababa bcbcb cdcdc ded। आपको एक दोहराया पैटर्न ढूंढना होगा। केवल (c) वह पैटर्न देता है।

(a डालने से, हमें मिलेगा - ababa bbbcb cdcdc ddd - इसमें कोई पैटर्न नहीं है

(b) लगाकर, हमें मिलेगा - ababa bbbcb cdcdc ddd - इसमें कोई पैटर्न नहीं है

(c) लगाकर, हमें मिलेगा - ababa bbbcb cdcdc ddd - इसमें कोई पैटर्न नहीं है

(एक साधारण श्रृंखला आधारित प्रश्न, सरल तर्क पर आधारित है। प्रयास किया जाना चाहिए।)

6.माना कि A3BC और DE2F चार अंको की संख्याएँ हैं, जहाँ प्रत्येक वर्ण 3 से बड़े भिन्न अंक को दर्शाता है। यदि संख्याओं का योग 15902 है, तो A और D के मानों के बीच अंतर क्या है ?

  1. 1
  2. 2
  3. 3
  4. 4

उत्तर (c).


प्रत्येक अक्षर अलग-अलग अंकों का प्रतिनिधित्व करता है।

अज्ञात अंक 6 (ए, बी, सी, डी, ई, एफ) हैं। प्रत्येक अंक 3 से अधिक है (संभावित अंक 4, 5, 6, 7, 8, 9) हैं। इसलिए इनमें से प्रत्येक अंक (4-9) का उपयोग किया जाएगा। हमें A - D (या A - D) ढूंढना है।

यहाँ, C + F = 2 पर समाप्त हो रहा है। अतः, C दो मान 8 या 7 ले सकता है. यदि C, 8 है तो F, 4 एवं यदि C, 7 है तो F, 5 है।

किसी भी स्थिति में B + 2 + 1(हासिल) 0 के साथ समाप्त हो रहा है इसलिए B = 7. इसका मतलब है कि C, 7 नहीं हो सकता, इसलिए C = 8 एवं F = 4।

अब F + 3 + 1 (हासिल) 9 के साथ समाप्त हो रहा है अतः E = 5. इसलिए अगली बार कोई हासिल आगे नहीं जाएगा अर्थात A + D = 15 एवं शेष अंक 9 तथा 6 है. जो 9 + 6 = 6 + 9 = 15 हो सकता है। अतः A एवं D के मध्य अंतर 3 है। इसलिए सही विकल्प (c) है।

(तर्क एवं संख्या प्रणाली पर आधारित प्रश्न। लंबा एवं कठिन। इसे छोड़ दिया जाना चाहिए)

7.दो कथन S1 और S2 नीचे दिए गए हैं, जिनके उपरान्त एक प्रश्न है:

S1: 51 पृष्ठों की एक पुस्तक में किसी भी पृष्ठ पर दो से अधिक रेखाचित्र नहीं है।

S2: प्रत्येक पृष्ठ पर कम-से-कम एक रेखाचित्र है

प्रश्न:

क्या इस पुस्तक में 100 से अधिक रेखाचित्र हैं ?

निम्नलिखित में से कौन-सा उपर्युक्त कथनों और प्रश्न के लिए सही है ?

  1. दोनो कथन S1 और S2 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त हैं किन्तु न तो अकेला S1 और न ही अकेला S2 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  2. अकेला S1 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  3. S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त नहीं है।
  4. अकेला S2 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।

उत्तर (c). आँकड़ों की पर्याप्तता पर आधारित प्रश्न। इस तरह के प्रश्न पिछले वर्षों में सीसैट से गायब रहे, लेकिन 2020 में फिर से पुछे गए हैं!

प्रश्न - क्या इस पुस्तक में 100 से अधिक रेखाचित्र हैं?

अकेले S1 का उपयोग करते हुए, किसी भी पृष्ठ पर आंकड़े की संख्या 0, 1 या 2. हो सकती है। इसलिए न्यूनतम 0 (जब प्रत्येक पृष्ठ पर 0 रेखाचित्र हो) एवं अधिकतम 102 (जब प्रत्येक पृष्ठ पर 2 रेखाचित्र हो) संभव हैं। इसलिए S1 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त नहीं है।

अकेले S2 का उपयोग करके, किसी भी एक पृष्ठ पर संख्या 1, 2, 3, .... अनंत तक हो सकती है। इसलिए अकेले प्रश्न का उत्तर देना पर्याप्त नहीं है।

यहां तक कि दोनों कथनों को मिलाने पर भी किसी भी पृष्ठ पर 1 या 2 रेखाचित्र हो सकते हैं। जिससे हमें न्यूनतम 51 (जब प्रत्येक पृष्ठ में 1 रेखाचित्र हो) एवं अधिकतम 102 (जब प्रत्येक पृष्ठ पर 2 रेखाचित्र हो), संभव है। अतः S1 एवं S2 के संयोजन भी विशिष्ट रूप से उत्तर देने के लिए प्रर्याप्त नहीं है।

(आँकड़ों की पर्याप्तता पर आधारित प्रश्नों ने इस सीसैट में वापसी की, अगर आपको यह प्रश्न आराम से कर पाते हैं तो जरूर किया जाना चाहिए था अन्यथा इसे छोड़ा भी जा सकता था। आपको किसी तरह 33% नेट स्कोर पार करना होगा।)

8.निम्नलिखित आँकड़ों पर विचार कीजिए:


उपर्युक्त सारणी में X का मान क्या है ?

  1. 7.8
  2. 7.6
  3. 7.4
  4. 7.2

उत्तर (a).

माना कि लड़कों की संख्या = b एवं लड़कियों की संख्या = g

तब प्रश्न में दी गई शर्त के अनुसार: 9g + 8b = 8.8 (b + g)

इससे हमें b:g = 1:4 प्राप्त होगा

इसका अर्थ यह है कि अगर p लड़के हैं तो लड़कियों की संख्या 4p होगी, जहां p धनात्मक पूर्णांक है।

प्रश्न में दी गई शर्त के अनुसार 8 × 4p + 7p = X (4p + p)

=> 32p + 7p = 5p × X => 39p = 5pX => 39 = 5X या X = 39/5 या X = 7.8.

(औसत पर आधारित एक प्रश्न, उतना आसान नही। इससे कम से कम हल करने के पहले दौर में तो बचा जाना चाहिए)

9.एक परिवार की दो पीढ़ियों के छः सदस्यों P, Q, R, S, T और U में तीन पुरूष और तीन महिलाएं है । उनमें दो विवाहित जोड़े और दो अविवाहित सहोदर है। U, P की पुत्री है और Q, R की सास है। T अविवाहित पुरूष है और S एक पुरूष है। निम्नलिखित में से कौन-सा है।

  1. R,U का पति है।
  2. R,S की पत्नी है।
  3. S अविवाहित है।
  4. उपर्युक्त में से कोई नहीं।

उत्तर (b)

दिया गया है - 1. दो पीढ़ियाँ हैं। 2. छह सदस्य च्ए फए त्ए P, Q, R, S, T एवं Uहैं जिनमें से तीन पुरुष, एवं तीन महिलाएं हैं। दो विवाहित जोड़े हैं (अतः इन चार व्यक्तियों में से दो पुरुष होंगे एवं दो महिला होंगे)। एक अविवाहित भाई, एवं एक अविवाहित बहन।

निष्कर्ष - अविवाहित भाई, बहन के युग्म में से एक पुरुष होगा एवं एक महिला।

केवल दो पीढ़ियाँ हैं। पुरानी पीढ़ी को G1 एवं युवा पीढ़ी को G2 माने तो।

P एवं Q माता-पिता एवं सास होने के कारण G1 का हिस्सा होंगे।

U, R एवं T(अविवाहित पुरुष) G2 का हिस्सा होंगे।

सभी सूचनाओं को ध्यान में रखते हुए हम निम्नलिखित हल प्राप्त कर सकते हैं (गोला पुरुष एवं त्रिकोण महिला का प्रतिनिधित्व करता है) –


(इस प्रश्न को छोड़ दिया जाना चाहिए, क्योंकि यह परीक्षा-पत्र केवल अर्हता के लिए एवं इस प्रष्न को करने में बहुत अधिक समय लग सकता है। पहले अन्य आसान प्रश्नो को हल करें)

10.यदि किसी विशेष वर्ष में 12 जनवरी केा रविवार है, तो निम्नलिखित में से कौन-सा सही है ?

  1. 15 जुलाई को रविवार है यदि वर्ष एक अधिवर्ष है।
  2. 15 जुलाई को रविवार है यदि वर्ष एक अधिवर्ष नहीं है।
  3. 12 जुलाई को रविवार है यदि वर्ष एक अधिवर्ष है।
  4. 12 जुलाई को रविवार नहीं है यदि वर्ष एक अधिवर्ष है।

उत्तर (c).

सबसे पहले 12 जुलाई को सप्ताह का कौन सा दिन होगा, इसकी गणना करते हैं। (यह ध्यान में रखते हुए कि 12 जनवरी को रविवार है एवं यह एक अधिवर्ष नही है)।

12 जनवरी से 12 जुलाई के बीच कुल दिवसों की कुल संख्या = 19 (जनवरी के शेष दिन) + 28 (फरवरी) + 31 (मार्च) + 30 (अप्रैल) + 31 (मई) + 30 (जून) + 12 (जुलाई) = 181।

अब, 181 को सात से भाग देने पर 6 से शेष मिलता है। अतः अंतिम रूप से हमें 6 आॅड दिवस प्राप्त हुए। अतः यदि 12 जनवरी, रविवार है तो 12 जुलाई, शनिवार होगा (एक गैर-अधिवर्ष में)।

एक अधिवर्ष में 12 जुलाई को रविवार होगा क्योंकि 29 फरवरी का एक अतिरिक्त दिन जोड़ा जाएगा।

(कैलेंडर एवं तारीखों पर आधारित एक प्रश्न। कठिन नहीं है, लेकिन समय लगता है। ध्यान से चुनें।)

11.एक व्यक्ति अपने घर के पीछे से सीधे 25 मीटर चलता है, फिर वह दाहिने मुड़कर 50 मीटर और चलता है; फिर वह बाएँ मुड़कर पुनः 25 मीटर चलता है। यदि उसके घर का मुख पूर्व की ओर है, तो वह अपने प्रारंभिक बिन्दु से किस दिशा में है ?

  1. दक्षिण-पूर्व
  2. दक्षिण-पश्चिम
  3. उत्तर-पूर्व
  4. उत्तर-पश्चिम

उत्तर (d). व्यक्ति के संचार को निम्न चित्र से समझा जा सकता है -


ऊपर दिए गए आरेख से, यह स्पष्ट है कि व्यक्ति प्रारंभिक बिंदु से उत्तर-पश्चिम दिशा में होगा।

(एक साधारण निर्देश आधारित प्रश्न। जरुर करना चाहिए।)

12.नीचे दो कथन दिए गए हैं जिनके बाद दो निष्कर्ष दिए गए हैं:

कथन:

सभी संख्याएँ 2 से विभाज्य है

सभी संख्याएँ 3 से विभाज्य है

निष्कर्ष - I :

सभी संख्याएँ 6 से विभाज्य है

निष्कर्ष-II

सभी संख्याएँ 4 से विभाज्य है

ऊपर लिखे हुए निष्कर्षों में से कौन-सा/से दिए गए दो कथनों से तार्किक रूप से निकाला/निकाले जा सकता/ सकते है/हैं ?

  1. केवल निष्कर्ष-I
  2. केवल निष्कर्ष-II
  3. न तो निष्कर्ष-I, न ही निष्कर्ष-II
  4. दोनो निष्कर्ष-I, और निष्कर्ष-II

उत्तर (a).

दिए गए कथन हैं - पहला, सभी संख्याएँ 2 से विभाज्य हैं, एवं दुसरा, सभी संख्याएँ 3 से विभाज्य हैं। यदि कोई संख्या 3 एवं 2 से विभाज्य है, तो यह निश्चित रूप से 6 (जो 2 × 3 है) से विभाज्य होगी, लेकिन जरूरी नहीं कि 4 से विभाज्य हो।

उदाहरण के लिए - 6, 18, 30..... ये सभी संख्याएँ हैं। इसलिए केवल निष्कर्ष 1 सत्य है।

(कथन-निष्कर्ष प्रारूप पर आधारित एक तार्किक प्रश्न है, जिसे किया जा सकता है।)

13.नीचे दो कथन दिए गए हैं जिनके बाद दो निष्कर्ष दिए गए हैं:

कथन:

सभी बिल्लियाँ काली है।

निष्कर्ष - I :

सभी बिल्लियाँ कुत्ते है।

निष्कर्ष - II :

सभी कुत्ते काले नहीं है।

सामान्य ज्ञात तथ्यों की उपेक्षा करते हुए, ऊपर लिखे हुए निष्कर्षों में से कौन-सा/से दिए गए दो कथनों से तार्किक रूप से निकाला/निकाले जा सकता/सकते है/हैं?

  1. केवल निष्कर्ष-I
  2. केवल निष्कर्ष-II
  3. न तो निष्कर्ष-I, न ही निष्कर्ष-II
  4. दोनो निष्कर्ष-I, और निष्कर्ष-II

उत्तर (c).

दिए गए निष्कर्षों में से कोई भी सही नही है। समझने के लिए निम्नलिखित यूलर/वेन आरेख को देखें। गोले बिल्लियों, कुत्तों एवं काली (बिंदीदार गोला) का प्रतिनिधित्व करता है।


उपर्युक्त तर्क को दो तरीकों से रेखांकित किया जा सकता है। दोनों ही मामलों में आप देख सकते हैं कि कुछ मामलों में सभी कुत्ते काले हो सकते हैं लेकिन फिर कुछ मामलों में ऐसा नहीं है। इसलिए प्रथम निष्कर्ष सही नहीं है। इसी प्रकार यदि कुत्तों को प्रर्दशित करने वाला गोला यदि काले को प्रर्दशित करने वाले गोले का सर्वांगसम हो (केस 2) तो निष्कर्ष ‘सभी कुत्ते काले हैं’ होगा। तो इस मामले में निष्कर्ष प्प् अनुसरण नहीं करता है। एक वैध निष्कर्ष होने के लिए यह हर मामले में सही होना चाहिए। इसलिए दोनों निष्कर्ष मान्य नहीं हैं।

(वक्तव्य-निष्कर्ष प्रारूप पर आधारित एक तार्किक प्रश्न। किया जा सकता है।)

14.निम्नलिखित संख्याओं के अनुक्रम पर विचार कीजिए:


ऊपर लिखे हुए अनुक्रम में कितनी विषम संख्याओं के बाद विषम संख्या आती है ?

  1. 5
  2. 6
  3. 7
  4. 8

उत्तर (b).

दिया गया अनुक्रम है – 5 1 4 7 3 9 8 5 7 2 6 3 1 5 8 6 3 8 5 2 2 4 3 4 9 6.

छह बार कोई विषम संख्या के पीछे विषम संख्या आई है। मोटे किए गए अंकों को (51, 73, 39, 57, 31 एवं 15) देखें।

(एक आसान संख्या श्रृंखला पहचान आधारित प्रश्न। जरुर करना चाहिए।)

15.लड़कों की एक पंक्ति में A बाएँ छोर से 16वें स्थान पर और ट दाएँ छोर से 18वें स्थान पर हैं। ळए । की दाईं और 11वें और ट से तीसरे स्थान पर दाहिने छोर की ओर है। पंक्ति में कितने लड़के हैं ?

  1. 40
  2. 41
  3. 42
  4. अपर्याप्त आँकड़ों के कारण निर्धारित नहीं किया जा सकता है।

उत्तर (b). नीचे दिए गए आरेख का संदर्भ लें।


A, बाएं से 16 वें स्थान पर है, इसलिए उसके बाईं ओर 15 छात्र होंगे। G, A से दाएं से 11 वें स्थान पर तथा V से दाएँ तीसरे स्थान पर है। इसलिए A एवं V के बीच 7 छात्र एवं V एवं G के मध्य 2 छात्र होंगे। परिणामस्वरूप, G के दाईं ओर 14 छात्र होंगे। इसलिए कुल छात्रों की संख्या 15 + 7 + 2 + 14 + A (1) + V (1) + G (1) = 41, होगी।

(बैठक व्यवस्था पर आधारित थोड़ा मुश्किल सवाल। किया जा सकता है लेकिन ध्यान से करने के लिए कुछ अतिरिक्त समय लग सकता है। सोचें एवं निर्णय लें!)



16.तीन कथन S1, S2 और S3 नीचे दिए गए हैं जिसके उपरांत एक प्रश्न है:

S1 : C,D से छोटा पर A और B से बड़ा है

S2 : D सबसे बड़ा है

S3 : A, B से बड़ा है।

प्रश्न:

A,B,C और D से सबसे छोटा कौन है ?

निम्नलिखित में से कौन-सा ऊपर लिखे हुए कथनों और प्रश्न के संदर्भ में सही है?

  1. S1 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  2. S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  3. S2 और S3 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  4. S1 और S3 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।

उत्तर (d).

पूछा गया प्रश्न, A, B, C एवं D में से कौन सबसे छोटा है?

>विकल्प (a) - S1 अकेले पर्याप्त नहीं है। क्योंकि A एवं B के बारे में कोई स्पष्टता नहीं है कि कौन छोटा होगा।

विकल्प (b) - S1 एवं S2 एक साथ पर्याप्त नहीं होंगे क्योंकि ए एवं बी के बारे में स्पष्टता नहीं होगी कि कौन छोटा होगा।

विकल्प (c) - संयोजन एस 2 एवं एस 3 पर्याप्त नहीं होगा क्योंकि यह सी के बारे में कोई जानकारी प्रदान नहीं करता है।

विकल्प (d) - संयोजन S1 एवं S3 से हमें अनुक्रम D > C > A > B प्राप्त होगा. तो, सबसे छोटा व्यक्ति B होगा।

(तार्किक क्षमता का सवाल, डेटा पर्याप्तता का। बहुत कठिन नहीं है, लेकिन प्रत्यक्ष भी नहीं। सावधानी से चुनें।)

17.1 और 100 के मध्य कितनी ऐसी पूर्ण संख्याएँ हैं जिनमें एक अंक 4 है लेकिन वे 4 से विभाज्य नहीं है ?

  1. 5
  2. 11
  3. 12
  4. 13

उत्तर (c).

1 एवं 100 के बीच 19 ऐसे पूर्णांक हैं जिनके 4 अंक हैं - 4, 14, 24, 34, 40, 41, 42, 43, 44, 45, 46, 47, 48, 49, 54, 64, 74, 84 एवं 94।

इनमें से केवल 7 पूर्णांक - 4, 24, 40, 44, 48, 64 एवं 84 4 से विभाज्य हैं।

तो सही उत्तर 19 - 7 = 12. एक यांत्रिक प्रश्न, किया जा सकता है।

(संख्या आधारित प्रत्यक्ष प्रश्न। पहले दौर में ही प्रयास किया जा सकता है।)

18.माना कि दो धातु के धानों P और Q के क्रमशः X, Y आयतन है; m, n द्रव्यमान हैं। Q की प्रत्येक भुजा P की दोगुनी है और Q का द्रव्यमान P का दोगुना है। माना कि u= m/x और v= n/y है। निम्नलिखित में से कौन-सा सही है ?

  1. u = 4v
  2. u = 2v
  3. v = u
  4. v = 4u

उत्तर (a).

P की भुजा = a, इसलिए Q की भुजा = 2a

P(x) का आयतन = a3 Q(y) का आयतन = 8a3

इसके अलावा, यह दिया गया है कि, P (m) = u × X = u × a3 …(1) का द्रव्यमान एवं

Q (n) = v × y = v × 8a3 …..(2)

यह भी दिया गया है कि Q(n) का द्रव्यमान= 2 × P(m) का द्रव्यमान

समीकरण 1 एवं 2 का उपयोग करके हमारे पास v × 8a3 = 2 × u × a3 => 4v = u.

तो विकल्प (a) सही है।

(इस बीजगणित आधारित प्रश्न से बचें, आप पहले अन्य प्रश्न हल कर सकते हैं!)

19.एक शिक्षक और तीन छात्रों की औसत आयु 20 वर्ष है। यदि तीनों छात्र समान आयु के हों और शिखक तथा प्रत्येक छात्र की आयु का अंतर 20 वर्ष हो, तो शिक्षक की आयु कितनी है?

  1. 25 years
  2. 30 years
  3. 35 years
  4. 45 years/li>

उत्तर (c).

पारंपरिक विधि - माना कि शिक्षक की आयु T वर्ष है एवं तीनों छात्रों की आयु a वर्ष हैं (तीनों छात्र की आयु समान है)। प्रश्न में दी गई जानकारी के अनुसार - (T + 3a)/4 = 20 or T + 3a = 80 ….(1)

T – a = 20 ….(2) (यह मानते हुए कि शिक्षकों की आयु छात्रों से अधिक होगी)

समीकरण 1 एवं 2 को एक साथ हल करने पर हमॆ a = 15 एवं T = 35 प्राप्त होता है। विकल्प (c) सही है।

विकल्प विधि से -

विकल्प (a) - यदि शिक्षक की आयु 25 वर्ष है, तो छात्रों की आयु 5 वर्ष होगी (यह मानते हुए कि शिक्षकों की आयु छात्रों से अधिक होगी)। इससे शिक्षक एवं छात्रों की औसत आयु (25 + 3×5)/4 = 10 होगी। इसलिए यह सही नहीं है।

विकल्प (b) - यदि शिक्षक की आयु 30 वर्ष है, तो छात्रों की आयु 10 वर्ष होगी (यह मानते हुए कि शिक्षकों की आयु छात्रों से अधिक होगी)। इससे शिक्षक एवं छात्रों की औसत आयु (30 + 3×10)/4 = 15 होगी। इसलिए यह सही नहीं है।

विकल्प (c) - यदि शिक्षक की आयु 35 वर्ष है, तो छात्रों की आयु 15 वर्ष होगी (यह मानते हुए कि शिक्षकों की आयु छात्रों से अधिक होगी)। इससे शिक्षक एवं छात्रों की औसत आयु (35 + 3×15)/4 = 20 होगी। यह प्रश्न में दी गई जानकारी से मेल खाता है। इसलिए यह सही उत्तर है।

विकल्प (d) की जाँच करने की आवश्यकता नहीं है।

(औसत पर आधारित प्रश्न। बहुत आसान नहीं है। पहले दौर में करने से बचना चाहिए)

20.एक व्यक्ति ने एक कार खरीदी और रू. 3,00,000 में बेच दी। यदि उसे 20% की हानि उठानी पड़ी, तो उसने कार खरीदने में कितने रूपये खर्च किए?

  1. Rs. 3, 60,000
  2. Rs. 3, 65,000
  3. Rs. 3, 70,000
  4. Rs. 3, 75,000

उत्तर (d).

पारंपरिक विधि -

क्रय मूल्य = 3,00,000 रूपये; हानि% = 20%.

विक्रय मूल्य = (क्रय मूल्य × 100)/(100 – हानि%)

=> क्रय मूल्य = 3,00,000 × 100 / 80 => क्रय मूल्य = 3, 75,000 रूपये। अतः, विकल्प (d) सही है।

वैकल्पिक विधि - चूंकि हानि 20% है, इसलिए क्रय मूल्य का 80% = 3, 00, 000 => 0.8 क्रय मूल्य = 3,00,000 => क्रय मूल्य = 3,75,000।

(लाभ एवं हानि पर आधारित एक बहुत ही सीधा सवाल। प्रयास किया जाना चाहिए!)

निम्नलिखित (छः) प्रश्नांशो के लिए निर्देश:

नीचे दिए गए पाँच परिच्छेदों को पढ़िए और परिच्छेदों के नीचे आने वाले प्रश्नांशो के उत्तर दीजिए । इन प्रश्नांशो के आपके उत्तर केवल इन परिच्छेदों पर ही आधारित होने चाहिए।

परिच्छेद-1

भारत में, पिछले दशक अथवा उसके आसपास, श्रमिक कृषि से हट रहे हैं, परंतु वे केवल निर्माण तथा गैर-पंजीकृत विनिर्माण में, जो कि स्पष्टत‘ बेहतर रोज़गार अवसर नहीं है, जा रहे हैं। सेवाएँ, जहाँ श्रम की प्रवृत्ति अधिक उत्पादनकारी होती है, अतिरिक्त रोज़गार अवसर उत्पन्न नहीं कर रही हैं जिनकी देश को आवश्यकता है। भारत को अगले दशक में लगभग 24 मिलियन नौकरयिों की आवश्यकता होगी। नया सेक्टर, ई-व्यापार, रोज़गार के अंतर को अधिक - से अधिक आधा ही भर पाएगा। केवल वे सेक्टर, जो घरेलु माँग को बढ़ावा देते हैं, जैसे स्वास्थ्य तथा शिक्षा, शेष आधे भाग को सुगमतापूर्वक भर सकते हैं।

21.परिच्छेद में निम्नलिखित में से कौन-सा एक सर्वाधिक महत्वपूर्ण निहितार्थ है?

  1. ग्रामीण से शहरी क्षेत्र में श्रमिको का प्रवसन कम करने के लिए कड़े कदम उठाने की आवश्यकता है।
  2. निर्माण तथा गैर-पंजीकृत विनिर्माण में कार्य करने की स्तियों में सुधार लाना चाहिए।
  3. सेवा सेक्टर बेरोज़गारी की समस्या को कम करता रहा है।
  4. बड़े पैमाने पर रोज़गार उपलब्ध करवाने के लिए सामाजिक क्षेत्र में खर्च का बढ़ना आवश्यक हैं

उत्तर (d). परिच्छेद का विषय ‘भारत में नौकरियां’ है।

स्पष्ट रूप से विकल्प (d) सही उत्तर है।

विकल्प (a) गलत है क्योंकि परिच्छेद ग्रामीण क्षेत्रों से श्रमिकों के प्रवसन को कम करने के बारे में बात नहीं करता है।

विकल्प (b) गलत है क्योंकि यह परिच्छेद का मुख्य विचार नहीं है। (‘सर्वाधिक महत्वपूर्ण निहितार्थ)।

विकल्प (c) परिच्छेद में दिए गए के ठीक विपरीत है एवं ‘सेवाओं, जहाँ श्रम की प्रवृत्ति अधिक उत्पादनकारी होती है, अतिरिक्त रोजगार अवसर उत्पन्न नही कर रही है, जिनकी देश को आवश्यकता है।’ ‘केवल वे सेक्टर, जो घरेलू माँग को बढ़ावा देते हैं, जैसे स्वास्थ्य एवं शिक्षा, शेष आधे भाग को सुगमतापूर्वक भर सकते हैं’ अतः (d) सत्य है।

विकल्प (d) थोड़ा अप्रत्यक्ष है लेकिन अंततः वांछनीय है। स्वास्थ्य एवं शिक्षा क्षेत्रों में सामाजिक क्षेत्र शामिल है, एवं वहां बड़े निवेश से कई नौकरियां पैदा हो सकती हैं।

(एक आसान परिच्छेद, यदि आप नियमित रूप से समाचार पत्र पढ़ रहे हैं। उत्तर चिह्नित करने से पहले सभी विकल्पों को ध्यान से पढ़ें।)

परिच्छेद-2

भारत में निजता के अधिकार पर वर्तमान फोकस डिजिटल युग की कुछ नवीन वास्तविकताओं पर आधारित है। कोई भी अधिकार वास्तविक अधिकार तभी होता है यदि वह सभी स्थितियों में प्रभावी हो और सभी के लिए हो। उदाहरण के लिए, किसी व्यक्ति का अपने शोषण के विरूद्ध सुरक्षा की वास्तविक उपलब्धता के बिना स्वतंत्र अभिव्यक्ति का अधिकार अर्थहीन है, जो कि यह सुनिश्चित करे कि उसके इस अधिकार को गैर-सरकारी शक्ति के प्रयोग से निष्फल न किया जा सके। इसलिए राज्य की भूमिका आधिकारिक स्वतंत्र अभिव्यक्ति में रूकावट पैदा करने से बचना मात्र ही नहीं है अपितु यह भी सक्रिय रूप से सुनिश्चित करना है कि गैर-सरकारी पक्षकार इसको अवरूद्ध करने में सक्षम न हो।

22.उपर्युक्त परिच्छेद के आधार पर निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. डिजिटल समाज में राज्य के पास ऐसी संस्थाएँ होनी चाहिए जो इसकी समुचित भूमिका को सुनिश्चित कर सकें।
  2. राज्य को सुनिश्चित करना चाहिए कि गैर-सरकारी पक्षकार नागरिकों की निजता के अधिकार का हनन न करें।
  3. डिजिटल अर्थव्यवस्था नागरिकों की निजता का हनन करने के विचार से सुसंगत नहीं है।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. 1 और 2
  2. केवल 3
  3. 1 और 3
  4. केवल 2

उत्तर (a) परिच्छेद का विषय ‘21 वीं सदी में नागरिकों के अधिकार’ है।

कथन 3 स्पष्ट रूप से गलत है, क्योंकि इसका उल्लेख परिच्छेद में कहीं भी नहीं किया गया है। इसलिए विकल्प (b) एवं (c) से इनकार किया जा सकता है।

विकल्पों को देखें - हमें केवल यह जांचने की आवश्यकता है कि कथन 1 सही है या नहीं। यह वास्तव में सही है क्योंकि ‘सक्रिय रूप से सुनिश्चित करना’ केवल संस्थागत तंत्र के माध्यम से संभव है (न कि एक-बंद या तदर्थ प्रतिक्रियाओं)। इसलिए केवल (a) सही लगता है।

परिच्छेद ‘निजता के अधिकार’ की बात करता है, फिर यह अधिकार की अर्थपूर्णता पर ‘अभिव्यक्ति के अधिकार’ के उदाहरण द्वारा अंतर्दृष्टि प्रदान करता है। परिच्छेद के अंत में विभिन्न कृत्यों के माध्यम से ‘स्वतंत्र अभिव्यक्ति के अधिकार’ को सुनिश्चित करने में ‘राज्य की भूमिका’ का उल्लेख है।

(बहुत आसान परिच्छेद नहीं है। इसे करना जोखिम भरा हो सकता है)

परिच्छेद-3

जल के साथ एक सबसे बड़ी विडम्बना यह है कि यह नदियों एवं अन्य आर्द्रभूमियों से आता है। इसके बावजूद उसे, उनसे पृथक् माना जाता है। यद्यपिज ल का प्रयोग एक संसाधन या वस्तु के रूप में किया जाता है, लोक नीति सदैव यह नहीं समझ पाती कि यह प्राकृतिक परिस्थितिक तंत्र का एक हिस्सा है। अतएव् जल प्रणाली निर्माण के प्रयास, जल की आपूर्ति में अभिवृद्धि के प्रयास हैं न कि परिस्थितिक प्रणाली की क्षमताओं को मजबूत बनाने के।

23.उपर्युक्त परिच्छेद से निम्नलिखित में से कौन-सा सर्वाधिक तर्कसंगत और विवेकपूर्ण निष्कर्ष निकाला जा सकता है?

  1. रामसर समझौते के अंतर्गत नदियों एवं अन्य आर्द्रभूमियों को संरक्षित किया जाना चाहिए।
  2. जल प्रणालियों के निर्माण का आधुनिकीकरण किया जाना चाहिए और आगे अभिवृद्धित किया जाना चाहिए।
  3. आर्द्रभूमियों को जल के मुक्त स्त्रोत के रूप से कहीं अधिक प्रबलित करना चाहिए।
  4. जल की आपूर्ति निःशुल्क नहीं होना चाहिए ताकि इसके दुरूपयोग और अति-उपयोग को रोका जा सके।

. उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘एक संसाधन के रूप में पानी’ है।

परिच्छेद ‘रामसर समझौते’ के बारे में बात नहीं करता है एवं न ही इसकी आपूर्ति की लागत के बारे में बात करता है, इसलिए विकल्प (a) एवं (d) से इनकार किया जा सकता है।

परिच्छेद ‘पारिस्थितिक तंत्र की क्षमताओं को मजबूत करने’ के बारे में बात करता हैं।’ इसके लिए आपको आद्रभूमियों को अधिक सम्मान देना होगा, जहां से पानी बहता है, एवं उन्हें केवल पानी के खुले स्रोतों से अधिक समझना होगा। अतः विकल्प (c) सही है।

विकल्प (b) सबसे तर्कसंगत निष्कर्ष नहीं है क्योंकि जल प्रणालियों के आधुनिकीकरण का अर्थ प्राकृतिक पारिस्थितिक तंत्रों का सम्मान करना नहीं है।

(बहुत आसान परिच्छेद नहीं है। कुछ सावधानीपूर्वक विचार-विमर्श एवं उन्मूलन की आवश्यकता है। लेकिन कोशिश की जा सकती है।)

परिच्छेद-4

हमारे निवेश निर्णयों में से सबसे महत्वपूर्ण होता है संपत्ति का विनिधान, और दुःख की बात है कि हम में से अधिकांश इस निर्णय को उतना महत्व नहीं देते जितना वांछित है। हम अपने भविष्य की पूर्वानुमेयता तलाशने के लिए अडिग हैं। हमारी सोच जोखिक-भरी संपत्तियों में निवेश के लिए अत्यधिक चपल एवं मूल्य क्षयण के प्रति अभिमुखित है। हम निवेश के अस्थिर प्रतिफल एवं नियंत्रण - लोप को भी पसंद नहीं करते। हम सोचते हैं कि हमारे धन का निष्क्रिय, अनुत्पादक रहना बेहतर है, पर वह सुरक्षित रहे। परंतु ऐसी कोई संपतित नहीं है जो जोखिम-मुक्त हो। हम अपने रोज़गार खो सकते हैं, हमारे घर अपना मूल्य खो सकते हैं, हमारे बैंक दिवालिये हो सकते हैं, हमारे बान्ड भुगतान से चूक सकते हैं, सरकार गिर सकती है और हमारे मन मुताबिक चुनी हुई कम्पनियों का अस्तित्व समाप्त हो सकता है। पर हम यह मानकर जीवन नहीं जी सकते कि ये सभी चरम घटनाएँ और वो भी सभी एक साथ घटित होने के लिए तैयार बैठीं है। हम जानते हैं कि जोखिम के ये सभी चरम् स्वरूप एक साथ प्रकट नहीं होंगे।

24.निम्न कथनों में से कौन-सा एक परिच्छेद के लेखक द्वारा दी गई सलाह को श्रेष्ठ रूप से निहित करता है ?

  1. अपने धन को विभिन्न प्रकार की संपत्तियों में इस प्रकार बांटे कि आपका जोखिम न्यूनीकृत हो सके।
  2. यदि आप धन कमाना चाहते हैं तो जोखिम उठाने वाला व्यवहार आपके व्यक्तित्व का एक आवश्यक घटक होना चाहिए।
  3. निवेश करते समय, एक ऐसे भरोसेमंद संपत्ति-प्रबंधन संगठन/ संस्था को खोजिए जो आपके लिए आपके धन का ठीक प्रबंधन कर सके।
  4. आपको जानना चाहिए कि आपके धन का निवेश एक जोखिम-भरा व्यवसाय है।

उत्तर (a) परिच्छेद का विषय ‘निवेश एवं संपत्ति विनिधान’ है।

शब्द ‘संपत्ति विनिधान’ का अर्थ है एक निवेश रणनीति का कार्यान्वयन, जो निवेशक के जोखिम सहिष्णुता, लक्ष्यों एवं निवेश समय सीमा के अनुसार निवेश सूचि में प्रत्येक परिसंपत्ति के प्रतिशत को समायोजित करके जोखिम बनाम लाभ को संतुलित करने का प्रयास करता है।

विकल्प (c) को हटाया जा सकता है क्योंकि इसका कहीं उल्लेख नहीं किया गया है।

विकल्प (d) को ठीक से वर्णित नही किया गया है एवं इसे हटाया जा सकता है।

विकल्प (b) को ‘धन कमाना चाहते हैं’ शब्दों के कारण हटाया जा सकता है।

हमारे पास केवल विकल्प (a) बचता हैं। अंत में, परिच्छेद कम जोखिम के लिए परिसंपत्तियों में विविधता लाने के बारे में बात करता है ‘जोखिम के ये सभी चरम स्वरूप एक साथ प्रकट नहीं होंगे।’

परिच्छेद ‘जोखिम लेने’ के बारे में बात नहीं कर रहा है, लेकिन ‘जोखिम में विविधता लाने के लिए’ कह रहा है, एवं ‘संपत्ति प्रबंधन संस्थान’ का कोई उल्लेख नहीं है।

बहुत आसान परिच्छेद नहीं है। विकल्पों को ध्यान से पढ़ें। उन्मूलन तकनीक का प्रयोग करें।)

परिच्छेद-5

यद्यपि आजकल उगायी जाने वाली अधिकतर आनुवंशिकतः रूपांतरित (जी.एम.) फसलें एकल लक्षण के लिए आनुवंशिकतः अभिरचित हैं, भविष्य में फसलों का एक से अधिक लक्षणों के लिए आनुवंशिकतः अभिरचित होना सामान्य मानक होगा। अतः कृषि में जैव प्रौद्योगिकी की भूमिका और उसके नियमन को, अकेले जी.एम. फसलों की वर्तमान पीढ़ी के प्रसंग में नहीं समझा जा सकता। बल्कि विभिन्न पहलुओं को जिनमें सामाजिक-आर्थिक प्रभाव सम्मिलित हैं, ध्यान में रखते हुए एक व्यापक अवलोकन की आवश्यकता है, ताकि नकारात्मक प्रभावों को न्यूनीकृत करते हुए प्रौद्योगिकी की क्षमता का उपयोग किया जा सके। उन किस्मों के विकास में, जो जलवायु परिवर्तन के प्रशमन और अनुकूलन में मददगार है, जैव प्रौद्योगिकी के महत्व के आलोक में, जलवायु परिवर्तन की कार्य-योजना के एक अंश के रूप में जेव प्रौद्योगिकी के घरेलु नियमन को व्यापार नीति और विभिन्न अंतर्राष्ट्रीय संधियों तथा सम्मेलनों के अंतर्गत दायित्वों से अलग करके नही देखा जा सकता।

25.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. जैव प्रौद्योगिकी नियमन एक विकासशील प्रक्रिया है।
  2. जैव प्रौद्योगिकी नियमन के वषिय में नीति निर्णय के लिए लोगों की भागीदारी की आवश्यकता है।
  3. जैव प्रौद्योगिकी नियमन के निर्णय में सामाजिक-आर्थिक पहलुओं को भी ध्यान में रखना चाहिए।
  4. जैव प्रौद्योगिकी नियमन में राजनैतिक कार्यपालिका का व्यापक रूप में शामिल होना देश की व्यापार नीतियों और अंतर्राष्ट्रीय दायित्वों को निपटाने की प्रभाविता में सुधार लाता है।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणाएँ वैध है?

  1. केवल 1, 2 और 4
  2. केवल 1 और 3
  3. केवल 2, 3 और 4
  4. 1, 2, 3 और 4

उत्तर (d). परिच्छेद का विषय ‘जैव प्रौद्योगिकी की प्रकृति का विकास’ है।

इस परिच्छेद दो प्रश्न आधारित हैं इसलिए इसे करने का प्रयास किया जाना चाहिए।

कथन 1 निश्चित रूप से सही है। यह लगातार विकसित हो रहा है। इसलिए विकल्प (c) समाप्त हो जाता है।

कथन 2 एवं 3 के बीच, कथन 3 बेहतर है (एवं परिच्छेद के अनुसार है)। वास्तव में, इसमें वह शामिल है जो कथन 2 में लिखा गया है। इसलिए 3 निश्चित रूप से सही है, एवं 2 सही हो सकता है और नही भी।

कथन 4 निश्चित रूप से सही है, क्योंकि राजनीतिक कार्यकारी के बिना यह संभव नहीं है।

तो 1, 3 एवं 4 सभी के साथ एकमात्र विकल्प विकल्प (d) है जिसमें स्टेटमेंट 2 भी है।

(एक कठिन सवाल। ध्यान से करें!)

26.निम्नलिखित में से कौन-सा कथन परिच्छेद के मर्म को श्रेष्ठ रूप से अंतर्निहित करता है?

  1. जी.एम. फसलों के विकास पर वर्तमान विमर्श में सतर्कता सिद्धांत केा महत्व नहीं दिया गया है।
  2. वर्तमान में जलवायु परिवर्तन प्रशमन और अनुकूलन क्रियाविधियों में जैव प्रौद्योगिकी का उपयोग नहीं किया जाता है।
  3. जैव प्रौद्योगिकी की भूमिका जी.एम. फसलों के विकास के लिए आज की प्राथमिकता तक सीमित नहीं है।
  4. जैव प्रौद्योगिकी के नकारात्मक परिणाम ठीक ढंग से नहीं समझे गए हैं।

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘जैव प्रौद्योगिकी की प्रकृति का विकास’ है।

हमें ‘परिच्छेद के मर्म को श्रेष्ठ रूप से अंतर्निहित करने वाले’ विकल्प को ढुंढना है।

परिच्छेद मुख्य रूप से कहता है कि आज के लिए क्या जैव प्रौद्योगिकी का उपयोग किया जा रहा है, एवं आने वाले वर्षों में इसका क्या उपयोग किया जा सकता है एवं इसका उपयोग किया जाना चाहिए। इसलिए, विकल्प (c) सबसे अच्छे मर्म को दर्शाता है।

(एक आसान प्रश्न, चूंकि परिच्छेद में 2 प्रश्न थे, इसलिए इसे हल करना चाहिए।)

27.गुणनफल


के अंत में कितने शून्य होंगे ?

  1. 10
  2. 12
  3. 14
  4. 15

उत्तर (a).

गुणन समस्या में, 0 दो तरीकों से प्राप्त किया जा सकता है। पहला जब किसी संख्या को 10 से गुणा किया जाता है या जब 5 को 2 से या किसी सम संख्या से गुणा किया जाता है।

इसलिए दिए गए कई गुणन में शून्य की संख्या को गिनने के लिए इसे 10, 5 एवं 2 में तोड़ दें।

हमें 1 × 5 × 10 × 15 × 20 × 25 × 30 × 35 × 40 × 45 × 50 × 55 × 60

= 1 × 5 × 10 × (3 × 5) × (2×10) × (5×5) × (3×10) × (7×5) × (4×10) × (9×5) × (5×10) × (11×5) × (6×10)

= 1 × (10 × 10 × 10 × 10 × 10 × 10) × (5 × 5 × 5 × 5 × 5 × 5 × 5 × 5) × (2 × 4 × 6) × (3 × 3 × 7 × 9 × 11)

= 1 × (10 × 10 × 10 × 10 × 10 × 10) × (5 × 5 × 5 × 5 × 5 × 5 × 5 × 5) × {2 × (2 × 2) × (2×3)} × (3 × 3 × 7 × 9 × 11)

प्राप्त होगा

उपरोक्त गुणन में आप देख सकते हैं कि हमारे पास छह 10, आठ 5 एवं चार 2 हैं।

छह 10 हमें छह 0 देगा जबकि चार 2 जब चार 5 (आठ उपलब्ध में से) के साथ संयुक्त होंगे तो हमें अतिरिक्त चार, 0 देगा।

तो गुणन में छह + चार = दस 0 होंगे।

(संख्या प्रणालियों पर आधारित एक आसान प्रश्न, जिसे अंतिम उत्तर तक पहुंचने के लिए कुछ फैक्टरिंग की आवश्यकता होती है। यदि आप इसे जल्दी कर सकते हैं, तो पहले दौर में प्रयास करें)

28.माना कि X + Y + Z तीन अंकों की एक संख्या है, जहाँ (X + Y + Z), 3 का गुणांक नहीं है। तब (XYZ+YZX+ZXY) विभाज्य नहीं है

  1. 3
  2. 9
  3. 37
  4. (X + Y + Z)

उत्तर (b).

XYZ एक 3-अंकीय संख्या है जो 3 से विभाज्य नहीं है।

हम जानते हैं कि XYZ का विस्तारित रूप 100 X + 10Y + Z होगा (मूल दशमलव संख्या प्रणाली)

तो, XYZ + YZX + ZXY= (100 X + 10Y+ Z) + (100Y + 1X + Z) + (100Z + 10X + Y)

= 111X + 111Y + 111Z = 111 (X + Y + Z)

= 3 × 37 × (X + Y + Z) जो 3 से विभाज्य है, 3, (X + Y + Z) एवं 37 सभी से विभाज्य है, लेकिन 9 से नहीं।

(नोट 3 एवं 37 अभाज्य संख्याएँ हैं एवं X + Y + Z (दिया गया है कि) 3 का गुणज नहीं है, इसलिए यह 9 का गुणज भी नहीं होगा)

तो, सही विकल्प है (b)।

(संख्याओं के गुणों के आधार पर एक कठिन प्रश्न, एवं इससे बचा जा सकता है।)

29.माना कि p, q, r और s इस प्रकार की प्राकृतिक संख्याएँ हैं कि p - 2016 = q + 2017 = r - 2018 = s + 2019 है। निम्न में से कौन-सी सबसे बड़ी प्राकृतिक संख्या है ?

  1. p
  2. q
  3. r
  4. s

उत्तर (c).

दिए गए संबंधों से, हमारे पास p - q = 4033 है; r - q = 4035; जिसका स्पष्ट अर्थ है r > p > q इसके अलावा r - s = 4037 जिसका अर्थ है r > s

इस प्रकार, r सबसे बड़ा है। तो सही विकल्प है (c)।

(यह गणना पर आधारित एक सरल प्रश्न है, किया जाना चाहिए।)

30.पाँच अंको की कितनी अभाज्य संख्याएँ अंकों 1, 2, 3, 4 और 5 के द्वारा बिना अंको की पुनरावृत्ति किए हुए, बनाई जा सकती है ?

  1. शून्य
  2. एक
  3. नौ
  4. दस

उत्तर (a).

यह कठिन लगता है, लेकिन ऐसा नहीं है। एक संख्या अभाज्य है यदि यह 1 एवं स्वयं के अलावा अन्य किसी से विभाज्य नही है।

अब अंकों को 1, 2, 3, 4 एवं 5 लें। बस उन्हें एक बार जोड़ दें। हमें योग के रूप में 15 मिलते हैं। 3 से विभाज्यता के नियम को याद करें।

‘यदि किसी संख्या के अंकों का योग 3 से विभाज्य है तो संख्या 3 से विभाज्य होगी’।

इसलिए इन पाँच अंकों का उपयोग करके गठित कोई भी संख्या 3 से विभाज्य होगी। इसलिए यह अभाज्य नहीं हो सकती। इसलिए शून्य।

(अभाज्य संख्याओं पर आधारित एक सुंदर एवं तार्किक प्रश्न, जिसे यदि आप को विभाजन के नियम याद है तो प्रयास किया जा सकता है)



निम्नलिखित 7 (सात) प्रश्नांशो के लिए निर्देश:

नीचे दिए गए पाँच परिच्छेदों को पढ़िए और परिच्छेदों के नीचे आने वाले प्रश्नांशो के उत्तर दीजिए । इन प्रश्नांशो के आपके उत्तर केवल इन परिच्छेदों पर ही आधारित होने चाहिए।

परिच्छेद-1

निजी निवेश सामान्यतः चपल है। विदेशी निजी निवेश और भी अधिक चपल है क्योंकि उनके लिए उपलब्ध निवेश विकल्प काफी अधिक है (अर्थात् समूचा संसार) । इसलिए रोज़गार देने का दायित्व विदेशी प्रत्यक्ष निवेश (FDI) पर नहीं छोड़ा जा सकता सांप्रतिक FDI अंतर्वाह सभी समय और सभी सेक्टरों तथा क्षेत्रों के संदर्भ में चपल होता है, जो उनके अधिकतम प्रतिफल की तलाश का आवश्यक परिणाम है। अस्थिर रोज़गार और आय एवं क्षेत्रीय असमानताओं का प्रबलन उसके दुष्परिणाम हैं। विदेशी निवेश का एक संभावित सकारात्मक परिणाम है नई प्रौद्योगिकी का अंतर्वहन और उसका अनुवर्ती विसरण। तथापि, प्रौद्योगिकी विसरण एकदम सुनिश्चित नहीं है, क्योंकि विसरण के लिए भारत में भौतिक एवं मानवीय पूँजी की वर्तमान स्थिति अपर्याप्त साबित हो सकती है।

31.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. दीर्घकाल में विदेशी निवेश पर भरोसा करना आर्थिक रूप से एक सही नीति नहीं है।
  2. ऐसी नीतियों को अपनाया जाना चाहिए जो विदेशी निजी निवेश में चपलता को कम कर सके।
  3. घरेलु निजी निवेश को सशक्त बनाने वाली नीतियाँ अपनायी जानी चाहिए।
  4. निजी निवेश की अपेक्षा सार्वजनिक निवेश को अधिक प्राथमिकता देनी चाहिए।
  5. शिक्षा एवं स्वास्थ्य क्षेत्र में पर्याप्त सार्वजनिक निवेश किया जाना चाहिए।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/पूर्वधारणाएंँ वैध है/हैं?

  1. 1, 2 और 4
  2. 1, 3 और 5
  3. 2, 4 और 5
  4. केवल 3

उत्तर (b). परिच्छेद का विषय ‘निजी निवेश एवं रोजगार की प्रकृति’ है।

परिच्छेद निजी निवेश की प्रकृति एवं इसकी चंचल प्रवृत्ति के बारे में बात कर रहा है। यह बताता है कि रोृजगार सृजन को विदेशी निजी निवेश पर क्यों नहीं छोड़ा जा सकता है, एवं यहां तक कि इसके सकारात्मक प्रभाव भारतीय मानव पूंजी में निहित समस्याओं के कारण पतला हो सकते हैं।

तो, कथन 1 निश्चित रूप से सही है। यह निश्चित रूप से इसमें निहित है। क्यों? जब हम लगातार थ्क्प् (एवं स्थानीय निजी निवेश) की चपल प्रकृति, एवं रोजगार सृजन के साथ इसके नकारात्मक संबंध के बारे में चिंतित हैं, तो हम एक आर्थिक नीति के रूप में इस पर कैसे भरोसा कर सकते हैं? यदि 1 सही है, तो विकल्प (a) एवं (b) संभावित उत्तर हैं लेकिन (c) या (d) नहीं।

अब (a) एवं (b) के बीच, हमें 2 एवं 3 की जांच करनी होगी।

2 पर ध्यान दें - भारत एफडीआई में अस्थिरता को कम करने के लिए कुछ नहीं कर सकता है क्योंकि यह उच्च रिटर्न की तलाश के लिए एफडीआई की अंतर्निहित प्रकृति है (इसलिए चपल)। वाक्यांश ‘आवश्यक परिणाम है’ पर ध्यान दें। तो 2 गलत है। लेकिन 3 सही हो सकता है, एवं 5 निश्चित रूप से सही है (परिच्छेद का अंतिम भाग)।

5 सही क्यों है? शिक्षा एवं स्वास्थ्य अड़चनें हैं (नई तकनीक को अवशोषित करने में) इसलिए सार्वजनिक निवेश से मदद मिलेगी।

इसलिए, सही उत्तर विकल्प (b) है। यह भी ध्यान दें कि 4 के बारे में कहीं भी स्पष्ट रूप से बात नहीं की गई है।

(एक कठिन प्रश्न, बहुत सावधानी से किया जाना चाहिए)

परिच्छेद-2

प्रतिवर्ष जून से सितम्बर के चार महीनों के दौरान होने वाले मानसूनी प्रवाहों के अत्यधिक विषम, ऋतुनिष्ठ एवं स्थानिक वितरण के उपयोग के कई अवसरों को खोया जा चुका है। चूँकि इन कुछ महीनों में ही अधिकांश वृष्टि होती है एवं परिणामतः स्वच्छ जल उपलब्ध होता है, जलाशयों में वर्षा के जल के संचयन की आवश्यकता और बाद में वर्ष-भर उपयोग हेतु छोड़ना, एक ऐसी अनिवार्यता है जिसकी कोई उपेक्षा नहीं कर सकता। जलवायु परिवर्तन मौसम की स्थितियों को सदा प्रभावित करता रहेगा और जल की अल्पता तथा इसके आधिक्य को उत्पन्न करेगा। जहाँ लाखो लोग सूखे एवं बाढ़ से पीड़ित होते हैं वहीं देश की कई नदियों में पानी अप्रयुक्त बहता रहता है और प्रत्येक वर्ष समुद्र में बह जाता है।

32.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित में से कौन-सा भारत की दृष्टि से सर्वाधिक तर्कसंगत एवं व्यावहारिक निहितार्थ हो सकता है?

  1. नदियों के अंतःसंबंधन को प्रारंभ किया जाना चाहिए।
  2. जल के यथोचित वितरण के लिए पूरे देश में बाँधों एवं नहरों के नेटवर्क का निर्माण किया जाना चाहिए।
  3. कृष्कों को बोरवेल की खुदाई के लिए सुलभ ऋण दिया जाना चाहिए।
  4. कृषि में जल के प्रयोग को कानूनी रूप से नियंत्रित किया जाना चाहिए।
  5. केन्द्र सरकार द्वारा विभिन्न क्षेत्रों में नदियों के जल के वितरण को नियंत्रित किया जाना चाहिए।

नीचे दिए गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिए:

  1. 1 और 2
  2. 2, 4 और 5
  3. 1, 3 और 4
  4. 2, 3 और 5

उत्तर (a).परिच्छेद का विषय ‘जल संसाधन एवं उपयोग’ है।

परिच्छेद भारत में मानसून की अप्रत्याशितता एवं प्रकृति के कारण पानी की कमी एवं अधिकता के बारे में बात कर रहा है। यह अप्रयुक्त पानी के बारे में भी बात करता है जो नदियों के साथ बह जाता है’

कथन 3 परिच्छेद से प्राप्त निहितार्थ नहीं हैं। इसे हटा दें। केवल विकल्प (a) एवं (b) बचते हैं।

अब, हम कैसे समुद्र में निर्जलित पानी के सिरदर्द से निपटते हैं? कथन 1 एवं 2 संभावित समाधान दर्शाते हैं। नदियों को जोड़ने से कमी वाले क्षेत्रों में अतिरिक्त पानी के उपयोग की अनुमति मिल जाएगी। एवं बांधों एवं नहरों का नेटवर्क तिरछे मानसून प्रवाह का समय पर दोहन सुनिश्चित करेगा।

इसलिए, (a) सबसे अच्छा है। साथ ही, कथन 3 गलत है, इसलिए (b) एवं (d) को खारिज कर दिया गया है।

(एक कठिन प्रश्न, लेकिन उन्मूलन के माध्यम से हल किया जा सकता है।)

परिच्छेद-3

जब शिक्षा से मिलने वाले लाभ का उपयोग करने की आर्थिक स्वतंत्रता प्राप्त होगी, तभी लोग शिक्षा में निवेश करेंगे। इस प्रत्यक्ष कारण की वजह से आर्थिक स्वतंत्रता के स्तर में वृद्धि के साथ ही शिक्षा से प्राप्त होने वाला लाभ भी बढ़ जाता है। निम्न कर दरों के कारण जब लोगों को शिक्षा के प्रत्येक बढ़ते स्तर से प्राप्त बढ़ी हुई आय के अधिकांश भाग को अपने पास रखने की अनुमति होती है तब शिक्षा में निवेश एक अच्छी सूझ-बूझ की बात होती है। दूसरी ओर जब सरकार शिक्षित व्यक्तियों की बढ़ी हुई आय पर और ऊँची दरों पर कर लगाने का निर्णय लेती है, तब स्वयं को अधिक शिक्षित करने में निवेश करना समझदारी की बात नहीं लगती। यही प्रोत्साहन उन अभिभावकों पर भी लागू होता है, जिन्हें यह निर्णय लेना है कि वे अपने बच्चों की शिखा पर निवेश करें या नहीं।

33.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई हैं:

  1. किसी देश में निम्न कर दर निरपवाद रूप से उच्च शिक्षा में अधिक निवेश के लिए परिणत हो जाती है।
  2. बच्चों की शिक्षा में निवेश उनकी आर्थिक स्वतंत्रता को सुनिश्चित करता है।
  3. आर्थिक स्वतंत्रता का मानव पूँजी निर्माण पर सकारात्मक प्रभाव होता है।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/ पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. केवल 3
  4. 1, 2, और 3

उत्तर (a). परिच्छेद का विषय ‘शिक्षा एवं कराधान’ है।

परिच्छेद में शब्द ‘मानव पूंजी’ को स्पष्ट रूप से उल्लेख नहीं किया गया है, हालांकि कुछ को लग सकता है कि यह अधिक लोगों के लिए अधिक शिक्षा का एक स्वचालित परिणाम है। लेकिन अगर यह वास्तव में मान लिया जाए तो हम निश्चित नहीं हो सकते। तो 3 को खारिज किया जाता है, एवं इसलिए विकल्प (c) एवं (d) से इनकार किया जा सकता है।

कथन 2 सही नहीं है। बच्चों की शिक्षा में निवेश (माता-पिता द्वारा) इन कारकों द्वारा तय किया जाएगा जैसे कि क्या वे बाद में इस शिक्षा पर किए निवेश का लाभ ठीक से आर्थिक अर्थों में उठाने में सक्षम होंगे ।इस संबंध को व्युत्पन्न करना उचित नहीं है कि ‘शिक्षा में निवेश आर्थिक स्वतंत्रता सुनिश्चित करता है’।

अतः सबसे अच्छा उत्तर (a) है।

(एक कठिन प्रश्न, ध्यान से करें!)

परिच्छेद-4

जब तक वित्तीय तंत्र स्थापित न हो जाए तब तक हमारे शहरी निकाय संभवतः हमारे शहरों में जलापूर्ति की धारणीय व्यवस्था सुनिश्चित नहीं कर सकते। जलापूर्ति के लिए प्राकृतिक स्त्रोतों से जल संचित करने, उसे पीने-योग्य बनाने की अभिक्रिया, तथा वितरण नेटवर्कबिछाने में भारी निवेश की आवश्यकता होती है। उसमें मल-प्रबंधन अधःसंरचना एवं मल-जल अभिक्रिया संयंत्रो में भी निवेश की आवश्यकता होती है, जिससे मल-प्रणाल अपशिष्ट जल को इन संयंत्रो तक ले जा सकें और यह सुनिश्चित किया जा सके कि असंसाधित मल-जल प्राकृतिक जल निकायों में बिलकुल ही नहीं छोड़ा जाए। यदि हमारे शहर इतने समृद्ध होते कि वो पूरी लागत को वहन कर सकते तो जल की निःशुल्क पूर्ति की जा सकती है। वे ऐसे नहीं है।

34.परिच्छेद द्वारा संप्रेषित सर्वाधिक और निर्णायक संदेश क्या है?

  1. शहरी स्थानीय निकायों को उपभोक्ता शुल्कों के माध्यम से लागत वसूलनी चाहिए।
  2. शहरी स्थानीय निकाय हमारे शहरों की जल आवश्यकताओं को पूर्ण करने के लिए पर्याप्त रूप से दक्ष नहीं है।
  3. हमारे शहरों में जल का अभाव एक चिरस्थायी समस्या है जिसका समाधान समभव नहीं है।
  4. हमारे शहरों में जल-संकट की दृष्टि से यह बहुत आवश्यक है कि शहरों में जनसंख्या का एक अधिकतम आकार निर्धारित कर शहरों की जनसंख्या को सीमित किया जाए।

उत्तर (a). परिच्छेद का विषय ‘पानी की आपूर्ति की लागत’ है।

इस परिच्छेद को करने की कोशिश करें क्योंकि इसमें दो प्रश्न हैं।

विकल्प (c) स्पष्ट रूप से गलत है, क्योंकि यह कहता है कि ‘... हल नहीं किया जा सकता’।

विकल्प (d) गलत है, क्योंकि यह परिच्छेद में कहीं भी उल्लिखित नहीं है।

(a) एवं (b) के बीच, जब हम (b) को देखते हैं, तो यह ‘शहरी स्थानीय निकायों के कुशल नहीं होने’ की बात करता है। लेकिन परिच्छेद में दक्षता पर चर्चा नहीं की जा रही है, बल्कि वित्तीय व्यवहार्यता के बारे में बात की गई है। इसलिए (b) पूरी तरह से सही नहीं है।

लेकिन (a) निश्चित रूप से एक महत्वपूर्ण संदेश दिया जा रहा है - ‘उपयोगकर्ता शुल्क के माध्यम से लागत की वसूली’ - जो पानी की आपूर्ति की स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए एक वित्तपोषण तंत्र हो सकता है।

(एक कठिन प्रश्न जिसमें विकल्पों के करीब निरीक्षण की आवश्यकता होती है।)

35.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणएँ बनाई गई हैं:

  1. केवल धनी शहर ही जल की धारणीय आपूर्ति को सुनिश्चित कर सकते हैं।
  2. शहरों में जल की धारणीय आपूर्ति का अर्थ कुटुम्बों को जल की आपूर्ति करने से कहीं अधिक है।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/ पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2 दोनो
  4. न तो 1, न ही 2

उत्तर (b). परिच्छेद का विषय ‘पानी की आपूर्ति की लागत’ है।

कथन 1 सही नहीं है, क्योंकि ‘समृद्ध शहर निःशुल्क पानी की आपूर्ति कर सकते हैं’ का उल्लेख किया गया है। हम कथन 1 में स्थिरता की बात कर रहे हैं।

कथन 2 सही है क्योंकि टिकाऊ वितरण में घरों में पानी की आपूर्ति के अलावा कई पहलू शामिल हैं।

इसलिए विकल्प (b) सही है।

(एक मुश्किल सवाल है, लेकिन कुछ विचार के साथ हल किया जा सकता है।)

परिच्छेद-5

भारत में, अभी भी लगभग पचास प्रतिशत कामगार कृषि में विनियोजित हैं, तथा लगभग 85 प्रतिशत खेत छोटे और सीमांत हैं। चीन और वियतनाम की तुलना में, जहाँ तेज़ गति से संरचनात्मक और ग्रामीण परिवर्तन हुए, भारत की कहानी धीमें परिवर्तन की है। परिणामस्वरूप भारत में गरीबी-ह्रास, चीन और वियतनाम की तुलना में, 1988-2014 के बीच बहुत धीमी गति का था। भारत का गरीबी-ह्रास 1988-2005 के बीच धीमा था, परंतु 2005-2012 तक दौरान यह नाटकीय गति से बढ़ा-पूर्व के काल की तुलना में तीन गुना तेज़ गति से। इस काल में भारत ने क्या किया ? शोध से पता चलता है कि सापेक्ष कीमतों का दृश्यलेख, बढ़ती वैश्विक कीमतों के परिणामस्वरूप, कृषि के पक्ष में महत्वपूर्ण ढंग से परिवर्तित हुआ है (50% से भी अधिक) । इससे कृषि में निजी निवेश 50% से भी अधिक बढ़ा। परिणामस्वरूप, कृषि-जी.डी.पी. की वृद्धि ने 2002-2007 के 2.4% के मुकाबले 2007-2012 में 4.1% के स्तर को छुआ। $25 बिलियन के स्तर को छुआ; वास्तविक कृषि मज़दूरी 7% प्रतिवर्ष की दर से बढ़ी। इन सबके कारण गरीबी में अभूतपूर्व गिरावट आई।

36.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. जब कृषि जोत मूलतः छोटे और सीमांत हों तब संरचनात्मक और ग्रामीण परिवर्तन असंभव है।
  2. अच्छी कीमत प्रोत्साहन कृषि में निवेश को प्रोरित कर सकती है।
  3. भारत के लिए उच्च मूल्य के कृषि-उत्पादों, जैसे कि पशुधन और बागवानी, के लिए मूल्य-श्रृंखलाओं (value chains) को बनाने की आवश्यकता है।
  4. कृषि माल की उच्च वैश्विक कीमतें भारत के गरीबी-ह्रास के लिए आवश्यक हैं।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणाएँ वैध है?

  1. 1 और 3
  2. 2 और 4
  3. 2 और 3
  4. 3 और 4

उत्तर (b). प्रिच्छेद का विषय ‘कृषि मूल्य एवं गरीबी में कमी’ है।

महान ऐतिहासिक पृष्ठभूमि के साथ एक उत्कृष्ट विषय।

कथन 2 निश्चित रूप से सही है (परिच्छेद में की गई एक धारणा) क्योंकि अच्छा मूल्य प्रोत्साहन वास्तव में कृषि निवेश की गति को बढ़ाता है (स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है)। अतः केवल विकल्प (b) एवं (c) संभावनाएं हैं।

कथन 3 का उल्लेख कहीं भी नहीं है, यहां तक कि अप्रत्यक्ष रूप से भी। इसलिए केवल विकल्प (b) बचा है।

अब कथन 4 थोड़ा मूर्खतापूर्ण लग सकता है जब आप सोचते हैं कि भारत की गरीबी में कमी वैश्विक उच्च कृषि कीमतों पर आकस्मिक है। लेकिन यह एक तथ्य है कि यह सीधे मदद करता है।

(इसे हल करना आसान नहीं था!)

37.निम्नलिखित में से कौन-सा कथन परिच्छेद के क्रांतिक संदेश का सर्वोत्तम प्रेषण करता है?

  1. निकट भविष्य में भारत की गरीबी कम करने के लिए बड़े पैमाने पर कृषीतर ग्रामीण रोज़गार सृजित करना चाहिए।
  2. भारत को बड़े पैमाने पर कृषक उत्पाद कंपनियाँ सृजित करनी चाहिए।
  3. कृषि में लोक निवेश की तुलना में निजी निवेश को प्राथमिकता देनी चाहिए
  4. निकट भविष्य में गरीबी कम करने के लिए समावेशी कृषि विकास मुख्य समाधान है।

उत्तर (d). परिच्छेद का विषय ‘कृषि मूल्य एवं गरीबी में कमी’ है।

यह परिच्छेद ‘ग्रामीण रोजगार’, ’कृषक उत्पादन कंपनियों’ या ‘कृषि में, लोक निवेश से निजी निवेश की प्राथमिकता’ के बारे में बात नहीं करता है। इनका कहीं भी उल्लेख नहीं किया गया है, एवं इन्हें प्रासंगिक मानना एक शुद्ध धारणा होगी।

इसलिए विकल्प (a), (b) एवं (c) से इनकार किया जाता है।

परिच्छेद स्पष्ट रूप से बताता है कि कृषि-जीडीपी की वृद्धि दर अधिक होने पर गरीबी में कमी की दर अधिक थी। इसलिए विकल्प (d) सत्य है।

(इसे हल करना आसान नहीं था!)

38.चार संख्याओं P, Q, T और S के संबंध में दो कथन S1 और S2 तथा उनके उपरांत एक प्रश्न दिया गया है:

S1 : R, P और Q से बड़ा है।

S2 : S सबसे बड़ा नहीं है।

चार संख्याओं P, Q, R और S में कौन-सा सबसे बड़ा है?

निम्नलिखित में से कौन-सा उपर्युक्त कथनों और प्रश्न के लिए सही है?

  1. S1 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  2. S2 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  3. दोनो कथनों S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त हैं किन्तु न तो अकेला S1 और न ही अकेला S2 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  4. S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त नहीं है।

उत्तर (c).

प्रश्न यह है कि ‘चार संख्याओं P, Q, R एवं S में से कौन सबसे बड़ा है?’

S1 अकेले प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त नहीं है, क्योंकि यह S के बारे में बात नहीं करता है।

S2 अकेले सत्य नहीं हो सकता क्योंकि यह कहता है कि S सबसे बड़ा नहीं है, लेकिन R, P एवं Q के बारे में कोई संकेत नहीं देता है।

S1 एवं S2 के संयोजन से हम प्राप्त करते हैं - चार संख्याएँ P, Q, R एवं S हैं, S सबसे बड़ा नहीं हो सकता, तो सबसे बड़ी संख्या P, Q एवं R के बीच होगी, लेकिन R, P एवं Q से अधिक है ’, इसलिए R सबसे बड़ा है।

इसलिए, उत्तर (c) है।

(आँकड़ों की दक्षता तर्क पर आधारित एक आसान प्रश्न। कोशिश करनी चाहिए।)

39.दो कथन S1 और S2 नीचे दिए गए हैं, उनके उपरान्त एक प्रश्न दिया गया है:

S1: n एक अभाज्य संख्या है।

S2: n को 4 से विभाजित करने पर 1 शेष आता है।

यदि दए 10 और 20 के बीच एकमात्र प्राकृतिक संख्या है, तो द क्या है ?

निम्नलिखित में से कौन-सा उपर्युक्त कथनों और प्रश्न के लिए सही है?

  1. S1 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  2. S2 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  3. दोनो कथनों S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त हैं किन्तु न तो अकेला S1 और न ही अकेला S2 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  4. S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त नहीं है।

उत्तर (d).

S1 एवं S2 में से कोई भी एक साथ या अकेले आपको n का मूल्य नहीं दे सकता है।

अकेले S1 का उपयोग करके आपके पास 10 एवं 20, 11 13, 17 एवं 19 के बीच चार अभाज्य संख्याएँ हैं।

अकेले S2 का उपयोग करते हुए दो संख्याएँ होती हैं 13 (= 4 × 3 + 1) एवं 17 (= 4 × 4 + 1) संभव हैं।

दोनों के संयोजन के बाद भी आपको दो संख्याओं का सेट मिलेगा यानी 13 एवं 17। इसलिए सही उत्तर विकल्प (d) है।

दोनों के संयोजन के बाद भी आपको दो संख्याओं का सेट मिलेगा यानी 13 एवं 17। इसलिए सही उत्तर विकल्प (d) है।

40.दो संख्याओं के संबंध में दो कथन S1 और S2 नीचे दिए गए हैं और उनके उपरांत एक प्रश्न दिया गया है:

S1 : उनका गुणनफल 21 है।

S2 : उनका योग 10 है।

प्रश्न:

वे दो संख्याएँ क्या है ?

निम्नलिखित में से कौन-सा उपर्युक्त कथनों और प्रश्न के लिए सही है?

  1. S1 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  2. S2 अकेले ही प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  3. दोनो कथनों S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त हैं किन्तु न तो अकेला S1 और न ही अकेला S2 प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त है।
  4. S1 और S2 एकसाथ प्रश्न का उत्तर देने के लिए पर्याप्त नहीं है।

उत्तर (c).

S1 अकेले आपको a × b = 21 (जहाँ a एवं b दो संख्याएँ हैं) देता है जिसमें 3×7 = 21, 1.5×14 = 21 या 6 × 3.5 = 21 जैसी कई संभावनाएँ हैं। (यह उल्लेख नहीं है कि संख्या पूर्णांक हैं )

ते S1 अकेले पर्याप्त नहीं है।

S2 अकेले भी पर्याप्त नहीं होगा क्योंकि यह आपको a + b = 10 देगा, एवं फिर से a एवं b की कई संभावनाएँ (1, 9), (2, 8), (3, 7) आदि।

दोनों को मिलाकर हम a + b = 10 या a = 10 - a …(1) एवं a × b = 21 …(2)

समीकरण 2 में a का मान रखते हुए, हमारे पास एक a × (10 – a) = 21 =>a2 – 10a +21 = 0

=> a2 – 7a – 3a +21 = 0 => a(a – 7) – 3 (a – 7) = 0 =>a – 7) (a – 3) = 0

=> यदि a = 7, b = 3 एवं यदि a = 3, b = 7.

तो संख्याओं को खोजने के लिए S1 एवं S2 दोनों की आवश्यकता होती है। विकल्प (c) सही है।

(डेटा दक्षता तर्क पर आधारित एक मामूली कठिन सवाल। कोशिश की जा सकती है।)

41.अधिकतम लम्बाई x क्या होगी, जिससे कि 3 1/2 m और 8 3/4 m,x के गुणांक गुणज हों?

  1. 1 ½ m
  2. 1 1/3 m
  3. 1 ¼ m
  4. 1 ¾ m

उत्तर (d).

मूल रूप से हमें 31/2 एवं 83/4 के HCF का पता लगाना होगा।

31/2= 7/2 एवं 83/4 = 35/4

इसलिए हमें 7/2 एवं 35/4 के महत्तम समापवत्र्य (HCF) का पता लगाना होगा।

भिन्न का एचसीएफ = ¾ (HCF of Numerators)/(LCM of Denomenators) = (HCF of 7 and 35)/(LCM of 2 and 4) = 7/4 =13/4

वैकल्पिक विधि -

यहाँ X × पूर्णांक = 3 = एवं X × पूर्णांक = = 83/4

अतः पूर्णांक = 3 1/2/ X

विकल्पों के द्वारा हल करने पर 3 1/2 1 1/2 पूर्णांक नहीं है। अतः विकल्प (a) संभव नहीं है।

इसी तरह, विकल्प (b) एवं (c) संभव नहीं हैं।

विकल्प (d), 3 1/2 / 1 3/4 = 2 एवं 8 3/4 / 1 3/4= = 5. तो सही विकल्प है (d)।

(एचसीएफ/एलसीएम पर आधारित एक अच्छा प्रश्न जो सीधे विकल्पों का उपयोग करके किया जा सकता है।)

42.निम्न आँकड़ों पर विचार कीजिए:


किस समयावधि में प्राकृतिक विकास दर अधिकतम थी?

  1. 1911 - 1921
  2. 1941 - 1951
  3. 1961 - 1971
  4. 1971 - 1981

उत्तर (d).

विकास दर = जन्म दर - मृत्यु दर

1911-1921 के लिए विकास दर = 48.1 - 35.5 = 12.6

1941-1951 के लिए विकास दर = 39.9 - 27.4 = 12.5

1961-1971 के लिए विकास दर = 41.1 - 18.9 = 22.2

1971-1981 के लिए विकास दर = 37.1 - 14.8 = 22.3

हमें प्राकृतिक विकास दर के सरल सूत्र को ऊपर के रूप में ग्रहण करना होगा, क्योंकि कुछ एवं उल्लेख नहीं किया गया है। एवं केवल दिए गए विकल्पों की जांच करें, सभी सात वर्षों की नहीं।

(एक बहुत ही सरल प्रश्न, जिसका प्रयास किया जाना चाहिए।)

43.आवर्त दशमलव निरूपण 1.272727... किसके समान है?

  1. 13/11
  2. 14/11
  3. 127/99
  4. 137/99

उत्तर (b).

यह देखते हुए कि X = 1.272727…

तो 100 X = 127.272727…

=>प्राप्त करने के लिए दूसरे से पहले को अलग करें - 99 X = 126

=>X = 126/99 = 14/11.

तो सही विकल्प है (c)।

(दशमलव की मूलभुत अवधारणा पर आधारित प्रश्न, यदि आपको अवधारण पता है तो किया जा सकता है)

44.चार अंकों की सबसे छोटी संख्या कौन-सी है, जिसे 3, 4, 5 और 6 से विभाजित करने पर प्रत्येक बार 2 शेष बचता है ?

  1. 1012
  2. 1022
  3. 1122
  4. 1222

उत्तर (b).

वांछित संख्या = (3, 4 एवं 5 के लघुत्तम समापवत्र्य का गुुणज जो चार अंकों की सबसे छोटी संख्या हो।)

तो 3, 4, 5 एवं 6 का LCM 60 है।

60 की गुणज 4-अंकों की सबसे छोटी संख्या 1020 है।

शेष 2 के साथ यह 1020 + 2 = 1022 होगा। उत्तर (b) है।

वैकल्पिक विधि - विकल्पों की जाँच द्वारा भी उत्तर प्राप्त किया जा सकता है।

(मूल अंकगणित पर आधारित एक सीधा प्रष्न)

45.एक शहर की वयस्क समष्टि में 40% पुरूष और 30% महिलाएँ विवाहित हैं। विवाहित वयस्क समष्टि का प्रतिशत क्या है, यदि कोई भी पुरूष एक से अधिक महिला से विवाह नहीं करता है और कोई भी महिला एक से अधिक पुरूष से विवाह नहीं करती है; और इनमें से कोई विधवा और विधुर नहीं है?

  1. 33 1/7%
  2. 34%
  3. 34 2/7%
  4. 35%

उत्तर (c).

पारंपरिक विधि - माना कि पुरुषों की कुल संख्या = X एवं कुल जनसंख्या 100 है।

कुल महिलाएं = (100 - X)

विवाहित पुरुष = 40 X/100 ….(i) एवं विवाहित महिलाएं = (100 – X) × 30?100 …(ii)

लेकिन, विवाहित पुरुषों की संख्या = विवाहित महिलाओं की संख्या। (दी गई शर्तों के अनुसार)

अतः, (i) एवं (ii) से, X = 300/7

तो, विवाहित पुरुष = = 300/7 X 40/100 = 120/7 एवं विवाहित महिलाएं = 120/7.

कुल विवाहित जनसंख्या = पुरुष + महिला = 240/7

आवश्यक प्रतिशत = 240/7 % = 342/7 % अतः सही विकल्प (c) है।

वैकल्पिक विधि - कोई भी पुरुष एक से अधिक महिलाओं से विवाह नहीं करता एवं कोई भी महिला एक से अधिक पुरुष से विवाह नहीं करती है। इसका अर्थ है विवाहित पुरुषों की संख्या = विवाहित महिलाओं की संख्या = 120 (माना)। विवाहित वयस्क जनसंख्या = 240।

पुरुषों की संख्या = 120 × 100/40 = 300 एवं महिलाओं की संख्या 120 × 100/30 = 400। तो, कुल जनसंख्या = 300 + 400 = 700।

वांछित प्रतिशत 240×100/700 = = 240/7 % = 342/7 %

(हमने दिए गए विवरण के साथ गणना में आसानी के कारण 120 लिया है)

(एक कठिन प्रश्न जो छोड़ा जा सकता था।)



46.जब 51 x 27 x 35 x 62 x 75 को 100 से विभाजित किया जाता है तो, शेषफल क्या है ?

  1. 50
  2. 25
  3. 5
  4. 1

उत्तर (a).

जब किसी संख्या को 100 से विभाजित किया जाता है, तो उस संख्या के अंतिम दो अंक हमेशा शेष रहेंगे। उदाहरण के लिए 312/100 शेष के रूप में 12 देगा या 5759 शेष के रूप में 59 देगा।

इसलिए हमारा प्रश्न मूल रूप से 51 × 27 × 35 × 62 × 75 के अंतिम दो अंकों को खोजना हैै।

हालांकि, वर्तमान प्रश्न को उपरोक्त गुणन के केवल इकाई अंकों को देखकर भी हल किया जा सकता है।

दो संख्याओं के गुणन में, परिणामी संख्या की इकाई का स्थान हमेशा इकाई की संख्या के गुणनफल से प्राप्त होता हैं। उदाहरण के लिए, 51 × 27 का ईकाई अंक 1 × 7 = 7 होगा।

हम ऊपर दिए गए गुणनफल के लिए 1 × 7 × 5 × 2 × 5 = ..0 को इकाई अंक के रूप में प्राप्त करेंगे। केवल विकल्प (a) ही सत्य हो सकता है।

(गणितीय कार्यों की मूल बातों पर आधारित, बहुत आसान प्रश्न नहीं है।)

47.रू. 2,500 की एक धनराशि को x, y और् z मैं 1/2:3/4:3/6 के अनुपात में वितरित किया जाता है। अधिकतम अंश और न्यूनतम अंश के बीच अंतर क्या है ?

  1. Rs. 300
  2. Rs. 350
  3. Rs. 400
  4. Rs. 450

उत्तर (c).

अनुपात 1/2: 3/4: 5/6 को 6: 9: 10 के रूप में लिखा जा सकता है।

कुल राशि 2500 रूपये है. स्पष्ट रूप से शेयर क्रमशः 600 रु, 900 रु एवं 1000 रु होगा

सबसे बड़े एवं सबसे छोटे के बीच का अंतर 400 रुपये, अतः सही उत्तर है (c)।

(शेयर एवं साझेदारी पर आधारित एक बहुत ही सीधा सवाल। प्रयास किया जाना चाहिए।)

48.n के किस मान के लिए संख्या (10n $ 1) में अंको का योग 2 है ?

  1. केवल n=0 के लिये
  2. किसी पूर्ण संख्या n के लिए
  3. केवल किसी धनात्मक पूर्णांक n के लिए
  4. किसी वास्तविक संख्या n के लिए

उत्तर (b).

(10n + 1) ) में किसी भी पूर्ण संख्या n के लिए अंकों का योग 2 होगा। संपूर्ण संख्याएँ पूर्णांक हैं, जो 0 से शुरू होती हैं। बस n के अलग-अलग मूल्य डालें एवं जाँच करें।

n = 0, 100 + 1 = 1 + 1. योग 2 है।

n = 1, 101 + 1 = 11. . के लिए योग 1 + 1 = 2 है।

n = 2, 102 + 1 = 100 + 1 = 101. के लिए योग 1+1 = 2 है।

तो सही विकल्प (b) है ।

(एक बहुत आसान सवाल जो सीधे प्रतिस्थापन द्वारा हल किया जा सकता है।)

49.एक कक्षा में तीन समूह A, B और C है। यदि समूह A से एक विद्यार्थी और समूह B से दो विद्यार्थियों को समूह C में स्थानांतरित किया जाता है, तो कक्षा के विद्यार्थियों के औसत भार का क्या होगा ?

  1. यह बढ़ जाएगा।
  2. यह घट जाएगा।
  3. यह वही रहेगा।
  4. अपर्याप्त आँकड़ों के कारण कोई निष्कर्ष नहीं निकाला जा सकता है।

उत्तर (c).

कक्षा का औसत समान ही रहेगा, क्योंकि कोई भी कक्षा से बाहर नही गया है और नाही अंदर आया है। तो औसत वजन संतुलन पहले जैसा ही होगा। परिवर्तन तभी हो सकता है जब कोई समूह में से जाता है या कोई व्यक्ति समूह में आता है, अन्यथा नहीं।

(प्रत्यक्ष तार्किक प्रश्न, प्रयास करने लायक!)

50.मूल्यवर्गों रू. 50, रू. 100, रू. 200, रू. 500 और रू. 2000 के साथ, एक समय में कम-से-कम तीन मूल्यवर्गों को लेते हुए, कितनी विभिन्न धनराशियाँ बनाई जा सकती है।

  1. 16
  2. 15
  3. 14
  4. 10

उत्तर (a).

हमें पांच में से कम से कम तीन मूल्यवर्गों को चुनना होगा। इसलिए हम या तो 5 में से 3 मूल्यवर्गों को चुन सकते हैं या 5 में से 4 को चुन सकते हैं या सभी 5 को चुन सकते हैं।

गणितीय रूप से इसे इस प्रकार लिखा जाएगा -

कुल तरीकों की संख्या =5C3 + 5C4 + 5C5 = 10 + 5 + 1 = 16 तरीके।

प्रत्येक बार ‘विभिन्न धनराशियों’ के बारे में चिंता न करें, क्योंकि प्रत्येक बार ‘अलग-अलग’ मूल्यवर्ग लिए जा रहे हैं वे विभिन्न ही होगी -

तीन मूल्यवर्ग संयोजन –

50+100+200; 50+100+500; 50+100+2000; 50+200+500; 50+200+2000; 50+500+2000; 100+200+500; 100+200+2000; 100+500+2000; 200+500+2000; TOTAL 10

(b) चार मूल्यवर्ग संयोजन -

50+100+200+500; 50+100+200+2000; 50+100+500+2000; 50+200+500+2000; 100+200+500+2000; TOTAL 5

(c) पांच मूल्यवर्ग संयोजन -

50+100+200+500+2000; TOTAL 1

अतः कुल = 10 + 5 + 1 = 16।

(आप इसे मैन्युअल रूप से कर सकते हैं, या इसे क्रैक करने के लिए क्रमपरिवर्तन एवं संयोजन के सिद्धांत का उपयोग कर सकते हैं।)

51.एक व्यक्ति x किसी कार्य का 20%, 8 दिनों में पूरा कर सकता है और दूसरा व्यक्ति y उसी कार्य का 25%, 6 दिनों में पूरा कर सकता है और यदि वे दोनो साथ-साथ काम करते हैं, तो उस कार्य का 40% कितने दिनों में पूरा हो जाएगा?

  1. 6
  2. 8
  3. 10
  4. 12

उत्तर (a).

नियमित विधि -

X किसी कार्य का 20% काम 8 दिनों में पूरा कर सकता है। तो X 40 दिनों में पूरा काम पूरा कर सकता है। इस प्रकार, X द्वारा 1 दिन = 1/40 काम किया जाता है।

Y समान कार्य का 25% 6 दिनों में पूरा कर सकता है। इसलिए 24 दिनों में पूरा काम करेगा एवं 1 दिन का कार्य = 1/24

X एवं Y द्वारा 1 दिन में किया गया कार्य = 1/40 + 1/24 = 8/120 = 1/15।

इसका अर्थ है कि X एवं Y मिलकर 15 दिनों में पूरा काम पूरा कर सकते हैं।

तो, काम का 40% या 2/5 समाप्त होने में लगने वाला समय = 15 × 2/5 = 6 दिन। अतः सही विकल्प (a) है।

वैकल्पिक तरीका -

X 8 दिनों में 20% काम पूरा कर सकता है इसलिए वह 40% काम 16 दिनों या 48/3 दिनों में पूरा करेगा। Y, 6 दिनों में 25% काम पूरा कर सकता है इसलिए वह 40% काम 6 × 40/25 = 48/5 दिनों में पूरा करेगा।

यदि दोनों एक साथ काम करते हैं, तो कार्य 1/(5/48+3/48)=1/(8/48)=1/(1/6)=6 दिनों में पूरा हो जाएगा।

(काम एवं समय से एक मानक सवाल है, लेकिन थोड़ा मुश्किल है।)

52.एक कार v km/hr की औसत चाल से स्थान x से स्थान y तक यात्रा करती है, y से x तक 2v km/hr की औसत चाल से, फिर x से y तक 3v km/hr की औसत चाल से फिर y से x तक 4v km/hr की औसत चाल से यात्रा करती है। तो संपूर्ण यात्रा के लिए कार की औसत चाल

  1. v km/hr से कम है।
  2. v और 2v km/hr के बीच रहती है।
  3. 2v और 3v km/hr के बीच रहती है।
  4. 3v और 4v km/hr के बीच रहती है।

उत्तर (b).

नियमित विधि - औसत गति = कुल दूरी ÷ कुल समय।

मान लेते हैं कि X एवं Y के बीच की दूरी ‘a’ है। फिर, कुल दूरी == a + a + a + a = 4a

एवं कुल समय = दूरी / गति = = a/v + a/2v + a/3v +a/4v = 25a/12v

तो, पूरी यात्रा के लिए औसत गति = 4a/ (25a/12v) = 48v/25 = 1 .92v.

तो सही विकल्प (b) है यानी v एवं 2v के बीच।

शॉर्ट-कट विधि - यदि एक ही दूरी को अलग-अलग गति a किमी प्रति घंटा, b किमी प्रति घंटा, c किमी प्रति घंटा, एवं d किमी प्रति घंटा के साथ चार बार यात्रा की जाती है, तो यात्रा की औसत गति 4abcd/(abc+abd+acd+bcd) द्वारा दी जा सकती है।


(इतना आसान सवाल नहीं है इसे छोड़ा भी जा सकता है।)

53.निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

  1. एक वर्ग और एक वृत्त के प्रतिच्छेदन के बिन्दुओं की न्यूनतम संख्या 2 है।
  2. एक वर्ग और एक वृत्त के प्रतिच्छेदन के बिन्दुओं की अधिकतम संख्या 8 है।

उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सही है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2 दोनो
  4. न तो 1, न ही 2

उत्तर (c).

जैसा कि चित्र में दिखाया गया है, एक वर्ग एवं एक वृत्त के प्रतिच्छेदन के न्यूनतम अंक 2 हैं एवं प्रतिच्छेदन के अधिकतम अंक 8 हैं।


अतः दोनों कथन सही हैं।

(ज्यामिति से पूरी तरह से तार्किक प्रश्न। कोशिश करनी चाहिए!)

54.एक व्यक्ति को धारा की उल्टी दिशा में जाने की अपेक्षा धारा प्रवाह की दिशा में किसी निश्चित दूरी को नाव द्वारा खेने में आधा समय लगता है। अचल पानी में चाल का, धारा की चाल से अनुपात क्या है ?

  1. 1 : 2
  2. 2 : 1
  3. 1 : 3
  4. 3 : 1

उत्तर (d).

नियमित विधि - माना कि अचल जल में चाल = s किमी प्रति घंटा एवं धारा की चाल = c किमी प्रति घंटा। दूरी D किमी है।

धारा की उलटी दिशा में चाल = अचल जल में चाल + धारा की चाल = s + c

धारा प्रवाह की दिशा में चाल = अचल जल में चाल - धारा की चाल = s - c ।

धारा की उलटी दिशा में समय = दूरी / धारा की उलटी दिशा में चाल = D/(s-c) ….(1) एवं

धारा प्रवाह की दिशा में समय = दूरी / धारा प्रवाह की दिशा में चाल = D/(s+c) …(2)

प्रश्न में दी गई स्थिति के आधार परः

धारा की उलटी दिशा में समय/ 2 = धारा प्रवाह की दिशा में समय

अतः


शॉर्टकट विधि - विकल्पों से हल करने का प्रयास करें। विकल्प (d) के लिए, s = 3x, c = 1x।

तो धारा प्रवाह की दिशा में चाल = 4x एवं धारा की उलटी दिशा में चाल = 2x ।

स्पष्ट रूप से समान दूरी के लिए, लिए गए समय का अनुपात इन गतिओं का अनुपात होगा, एवं जो 4x: 2x = 2: 1 आता है। (धारा की उलटी दिशा में समय: धारा प्रवाह की दिशा में समय)।

इसलिए विकल्प (d) सही है।

(नाव एवं धाराओं से एक साधारण सवाल। प्रयास किया जाना चाहिए।)

55.प्राकृतिक संख्याओं के ऐसे कितने युग्म हैं, जिनके वर्गों का अंतर 63 है ?

  1. 3
  2. 4
  3. 5
  4. 2

उत्तर (a).

प्राकृतिक संख्या पूर्णांक 1 से शुरू होती है।

माना कि दो संख्याएँ a एवं b हैं

a2 – b2 = 63 =>(a + b) (a – b) = 63. अक 63 = 9 × 7 = 21 × 3 = 63 × 1 इसलिए,

केस I - a + b = 9; a - b = 7. यहां हमें a = 8 एवं b = 1 मिलेगा

केस II- a + b = 21; a - b = 3. यहां हमें a = 12 एवं b = 9 मिलेगा।

Case III: a + b = 63; a – b = 1. Here we will get a = 32 and b = 31

केस III - a + b = 63; a - b = 1. यहां हमें a = 32 एवं b = 31 मिलेगा।

चूंकि 63 का निर्माण भाज्य संख्याओं के तीन यूग्मों द्वारा ही किया जा सकता हैं, इसलिए सही विकल्प (a) है।

(मूल संख्या सिद्धांत पर आधारित एक अच्छा प्रश्न, प्रयास किया जा सकता है।)

56.यदि भिन्नों 2/3, 3/4, 4/5 और 5/6 के अंश और हर दोनो में 5 जोड़ दिया जाता है, तो निम्नलिखित से किस एक के मान में न्यूनतम परिवर्तन होगा?

  1. 2/3
  2. 3/4
  3. 4/5
  4. 5/6

उत्तर (d).

अवधारणात्मक विधि - सभी दिए गए अंश एक a/(a+1) के रूप में हैं। क को अंश एवं हर दोनों में जोड़ा जाता है। तो नया अंश (a+d)/(a+d+1) होगा।

प्रतिशत परिवर्तन = (((a+d)/(a+d+1)-a/(a+1))×100)/(a/(a+1)) = {(a+d)(a+1)-2(a+d+1)}/(a+d+1)(a+1) × ((a+1)×100)/a = (d×100)/(a+d+1).

इस प्रतिशत का मान a पर निर्भर करेगा क्योंकि अंश एक स्थिर मान है एवं a हर में है, जितना अधिक a मान होगा उतना ही कम भिन्न का मान होगा। इसलिए, सही विकल्प (d) है।

अन्यथा आप इसे प्रत्यक्ष विधि से आजमा सकते हैं। कैसे? सभी दिए गए अंशों में, सबसे बड़ा 5/6 = 83.3% है। तो सबसे बड़े पर इस ऑपरेशन का न्यूनतम प्रभाव दिखेगा।

(बुनियादी संख्याओं पर आधारित एक अच्छा लेकिन बहुत आसान प्रश्न नही)

57. एक अंक n > 3 भाज्य है 3 से लेकिन 6 से भाज्य नहीं है। निम्नलिखित में से कौन-सा एक 4 से भाज्य है ?

  1. 2n
  2. 3n
  3. 2n + 4
  4. 3n + 1

उत्तर (d).

एक अंक जो n > 3, 3 से विभाज्य है लेकिन 6 से विभाज्य नहीं है, 9 होगा।

तो n = 9. सभी दिए गए विकल्पों में से 2n, 3n, 2n+4 एवं 3n+ 1, केवल अंतिम एक (= 3×9 + 1 = 28) 4 से विभाज्य होंगे।

(एक सीधा सवाल जो हल किया जाना चाहिए।)

58.यदि 1 लीटर पानी का भार 1 kg है, तो कितने घन मिलीमीटर पानी का भार 0.1 gm होगा ?

  1. 1
  2. 10
  3. 100
  4. 1000

उत्तर (c).

दिया गया है - 1 लीटर = 1 किग्रा

हम जानते हैं कि 1 m3 (1 घन मीटर) 1000 लीटर के बराबर है।

=>1000 लीटर = 109 घन मिलीमीटर।

(कैसे 1 m x 1 m x 1 m = 100 cm x 100 cm x 100 cm = 1000 mm x 1000 mm x 1000 mm = 109 mm3)

=>1 litre = 106 cubic millimetres = 1 kg = 1000 gm

तो 0.1 gram = 102 mm3 = 100 घन मिलीमीटर।

(थोड़ा सा गणना आधारित प्रश्न।)

59.पानी से भरे हुए एक बर्तन का भार 40 kg है । यदि यह एक-तिहाई भरा हुआ है, तो इसका भार 20 kg हो जाता है। खाली बर्तन का भार क्या है ?

  1. 10 kg
  2. 15 kg
  3. 20 kg
  4. 25 kg

उत्तर (a).

नियमित विधि - माना खाली बर्तन का वजन = v एवं पानी का भार = w

प्रश्न दी गई शर्तों के अनुसार -

v + w = 40 …. (1) ) एवं

v + w/3 = 20 …. (2)

समीकरणों (1) एवं (2) को एक साथ हल करके हमें w = 30 एवं v = 10 प्राप्त होगा।

शॉर्ट-कट - विकल्प (a), खाली बर्तन का वजन = 10, इसलिए जब बर्तन पूरी तरह से भर जाए तो पानी का वजन = 40 - 10 = 30. जब पानी एक तिहाई भर जाए तो उसका वजन = 30/3 = 10. बर्तन का वजन जब एक तिहाई पानी से भरा होता है = 10 + 10 = 20. जो प्रश्न में दी गई स्थिति से मेल खाता है। तो उत्तर विकल्प (a) है।

(यहाँ शॉर्ट-कट विधि का उपयोग करना बेहतर है)

60. एक मेंढक फिसलन वाली दीवारों वाले 4.5 m गहरे एक सूखे कुएँ से बाहर आने की कोशिश करता है। प्रत्येक बार मेंढक 30 cm फुदकता है और 15 cm नीचे सरक जाता है। कुएँ से बाहर आने के लिए मेंढक के लिए जरूरी फुदकन की संख्या क्या है ?

  1. 28
  2. 29
  3. 30
  4. 31

उत्तर (b).

मेंढक द्वारा छलांग लगाने के लिए कुल दूरी = 4.5 मीटर = 450 सेमी।

मेंढक 30 सेमी कूदता है एवं 15 सेमी फिसल जाता है, जिसका अर्थ है कि,

एक छलांग में वह 30 - 15 = 15 सेमी तक चढ़ता है।

28 ऐसे छलांगों में वह 28 × 15 = 420 सेमी तक चढ़ जाएगा।

अब केवल 30 सेमी बाहर आना बाकी है, जो मेंढक अगले (29 वें) छलांग में कूद जाएगा।

नोट - आखिरी छलांग में मेंढक फिसलेगा नहीं क्योंकि वह कुएं से बाहर होगा।

(तर्क का उपयोग करके एक अच्छा सवाल।)



निम्नलिखित 6 (छः) प्रश्नांशो के लिए निर्देश

नीचे दिए गए पाँच परिच्छेदों को पढ़िए और परिच्छेदों के नीचे आने वाले प्रश्नांशो के उत्तर दीजिए। इन प्रश्नांशो के आपके उत्तर केवल इन परिच्छेदों पर ही आधारित होने चाहिए।

परिच्छेद-1

स्पैनिश जहाज 16वीं शताब्दी के उत्तरार्ध में पहली बार दक्षिण अमेरिका से आलू कंद यूरोप लाए, जिससे कि प्रारंभिक 19वीं शताब्दी में यह विशेषकर ठंडे आयरलैंड की वर्षा से तर भूमि में धान्य फसलों का विश्वसनीय पूर्तिकर हो गया। आयरलैंड -वासी शीध्र ही लगभग पूर्णतः प्रधान खाद्य के रूप में आलू पर निर्भर हो गए। और वे मुख्य रूप से उसकी एक बृहदाकार किस्म, ’लम्पर’ आलू को उगाने लगे, जिसकी अनुवंशिक भंगुरता को एक कवक ’फाइटोफ्थेरा इन्फेस्टेन्स (Phytophthora infestans)’ ने आने वाले समय में निर्ममता से अनावृत कर दिया। 1845 में इस घातक कवक के बीजाणुओं से समूचे देश में फैलना आरम्भ कर दिया और अपने पथ में आने वाले लगभग सभी लम्परों को नष्ट कर दिया। इसके परिणामस्वरूप हुए अकाल ने कई मिलियन लोगों को मार दिया या विस्थापित किया

61.निम्नलिखित में से कौन-सा कथन परिच्छेद के क्रांतिक संदेश का सर्वोततम प्रेषण करता है ?

  1. किसी विदेशी पादप को किसी देश में समाविष्ट करने के लिए उस देश की भूमि और जलवायु दशाएँ उपयुक्त होनी चाहिए।
  2. किसी देश के प्रधान खाद्य के रूप में आलू जैसी कंद वाली फसलें, धान्य फसलों का स्थान नहीं ले सकतीं।
  3. पादपों के कुछ कवक संक्रमणों को बड़े क्षेत्रों में फैलने से बाधित किया या रोका नहीं जा सकता।
  4. किसी समांगी खाद्य स्त्रोत पर निर्भर होना वांछनीय नहीं है।

उत्तर (d). परिच्छेद का विषय ‘राष्ट्रों की फसलों पर निर्भरता’ है।

पूरे आयरलैंड में मिट्टी और जलवायु की स्थिति आलू की फसल के नष्ट करने का कारण नहीं थी। इसलिए विकल्प (a) सही नहीं है।

परिच्छेद कवक संक्रमण की रोकथाम के बारे में बात नहीं करता है, इसलिए (c) सही नहीं है। परिच्छेद फसलों की जगह ले सकते हैं या नहीं, इस बारे में भी चर्चा नहीं की गई है, इसलिए (b) भी सही नहीं है। परिच्छेद मौलिक, गंभीर रूप से महत्वपूर्ण संदेश देता है कि ‘एक समरूप खाद्य स्रोत पर भरोसा न करें अन्यथा एक ही बीमारी पूरी खाद्य अर्थव्यवस्था को मिटा सकती है'।

(एक आसान प्रश्न जिसके लिए प्रयास किया जाना चाहिए।)

परिच्छेद - 2

भारत सबसे तीव्र विकसित होने वाली वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में से है, फिर भी यह विश्व में सबसे अधिक कुपोषित बच्चों का घर है। ऐसे भी क्षेत्र है जहाँ कुपोषण अपवाद नहीं अपितु सामान्य है और सारे देश में, हर वर्ष अपना पाँचवाँ जन्मदिन मनाने से पूर्व मरने वाले 1.3 मिलियन बच्चों में से लगभग आधे बच्चों की मृत्यु का कारण कुपोषण है। वे बच्चे जो जीवित रह जाते हैं, स्थायी रूप से उस क्षति से ग्रसित रहते हैं जो उनके शरीर और मन में उपयुक्त खाद्यो एवं पोषकों के पर्याप्त मात्रा में न मिलने से हो चुकी होती है। 5 वर्ष से कम आयु के लगभग 44 मिलियन बच्चे अविकसित हैं। इससे उनको विद्यालय में सीखने और वयस्क होने पर जीविका कमाने में कठिनाई होती है। उनकी जीवनकालीन उपार्जन क्षमता उनके स्वासथ्य समकक्षों से लगभग एक-चैथाई कम होती है।

62.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित में से कौन-सा /से सर्वाधिक तर्कसंगत एवं व्यावहारिक निहितार्थ है/है ?

  1. भारत की सार्वजनिक वितरण प्रणाली को केन्द्र सरकार द्वारा मॅानीटर किया जाना चाहिए।
  2. बालिकाओं केा विवाह एवं प्रथम गर्भ विलम्बित करने के लिए प्रोसाहित करना चाहिए।
  3. जन्म के तुरंत बाद नवजात को स्तनपान कराने हेतु माताओं को प्रेत्साहित करना चाहिए।
  4. सभी के लिए सुरक्षित पेय जल एवं उपयुक्त स्वच्छता सुविधाओं की आपूर्ति सुनिश्चित करनी चाहिए।
  5. नीचे दिए गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिए

  1. 1, 2, 3 और 4
  2. 2, 3, 4 और 5
  3. केवल 1
  4. केवल 3 और 5

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘भारत में कुपोषण’ है।

एक बहुत ही पेचीदा प्रश्न। ध्यान दें कि परिच्छेद केवल ‘कुपोषण’ एवं किसी अन्य विषय पर केंद्रित नहीं है - न तो टीकाकरण, न ही पानी/स्वच्छता और न ही स्तनपान, आदि।

इसलिए, दिए गए सभी कथनों में, अगर हमें अकेले कुपोषण पर ध्यान केंद्रित करना है, तो इसका अर्थ है कि सभी नागरिकों, विशेषकर कमजोर वर्गों के लिए खाद्य आपूर्ति। और इसका अर्थ है कि एक बेहतर सार्वजनिक वितरण प्रणाली। केवल कथन 1 फिट बैठता है। अगर संघ सरकार, कुपोषण को खत्म करने के दृष्टिकोण से सार्वजनिक वितरण प्रणाली को बेहतर कर सके तो समस्या को कम किया जा सकता है।

कथन 5 का उल्लेख नहीं किया गया है, इसलिए विकल्प (b) और (d) स्वतः समाप्त हो गए हैं।

और विकल्प (a) को तत्काल प्रासंगिक नहीं होने के कारण समाप्त किया जा सकता है।

(एक मुश्किल सवाल जिसके लिए गहरी सोच की आवश्यकता है।)

परिच्छेद-3

दलहन की प्रजाति ’पूसा अरहर 16’ को पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के धान उगाने वाले क्षेत्रों और अंततः सम्पूर्ण भारत में उगाए जा सकने की संभावना है। उसकी उत्पादकता (लगभग 2000 कि.ग्रा./हेक्टेयर) उपलब्ध प्रजातियों की तुलना में महत्वपूर्ण रूप से अधिक होगी और चूँकि उसके आकार में एकरूपता होगी, उसकी कटाई मशीनों से भी संभव होगी एवं उत्तरी भारत के उन कृषकों, जो आजकल इस तकनीक का प्रयोग धान के लिए करते हैं, के लिए एक आकर्षक विशेषता होगी। सबसे महत्वपूर्ण यह है कि अरहर का पुआल, धान के पुआल के विपरीत, हरा होता है और उसे मृदा में वापस जोता जा सकता है धान के पुआल में परेशानी यह है कि सेलखड़ी (silica) की मात्रा अधिक होती है जो आसानी से उसका अपघटन नहीं होने देती। अरहर में कंबाइन कटाई के बाद भी कृषक को बचे हुए पुआल को छोटे टुकड़ों में काटने के लिए केवल रोटोवेटर चलाने की आवश्यकता होती है जिन्हें वापस जोता जा सकता है और जो बहुत तेजी से अपघटित हो जोत हैं। यह कार्य धान के बचे हुए डंठलों के साथ कठिन है जिन्हें आसानी से निकाला या वापस नहीं जोता जा सकता। इसलिए, कृषक साधारणतः इसे जलाने का आसान रास्ता चुनते हैं।

63.निम्नलिखित में से कौन-से ऐसे सर्वाधिक तर्कसंगत निष्कर्ष है जो उपर्युक्त परिच्छेद से निकाले जा सकते हैं?

  1. धान की तुलना में दलहन उगाने से कृषकों की आय अधिक होगी।
  2. दलहन उगाना, धान उगाने की तुलना में कम प्रदूषण उत्पन्न करता है।
  3. दलहन के पुआल का प्रयोग मृदा की गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए किया जा सकता है।
  4. उत्तरी भारत की कृषि के संदर्भ में, धान के पुआल की कोई उपयोगिता नहीं है।
  5. मशीनीकृत खेती ठूँठ जलाने का प्रमुख कारक है।
  6. नीचे दिए गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिए

  1. 2, 3 और 5
  2. 1, 4 और 5
  3. केवल 2 और 3
  4. केवल 1 और 4

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘उत्तर भारतीय खेतों में धान बनाम दलहन’ है।

कथन 5 सही नहीं है क्योंकि यह उल्लेख किया गया है कि धान के पुआल का अपघटन कठिन हैं, इसलिए किसान उन्हें जलाना चुनते हैं (इसका अर्थ है कि यंत्रीकृत कृषि अपराधी नही है)।

इसलिए विकल्प (a) और (b) से इनकार किया जा सकता है।

अब, कथन 1 सही नहीं है क्योंकि हम वास्तव में नहीं जानते हैं कि क्या दलहन की खेती और धान की सीधी तुलना संभव है। यह स्पष्ट रूप से उल्लिखित नहीं है।

इसलिए विकल्प (b) और (d) से इनकार किया जा सकता है।

अंततः हमें विकल्प (c) प्राप्त होता है जिसके अनुसार केवल केवल 2 और 3 सत्य है।

(प्रश्न इतना आसान नहीं है, संभाल कर कदम रखें!)

परिच्छेद-4

भारत में, प्राधिकारी मानसून ऋतु में जलाशयों में अधिकतम जल संचय करने की कोशिश करते हैं, जिसे गर्मी के महीनों में सिंचाई एवं विद्युत् उत्पादन के लिए प्रयोग में लाया जाता है। मानसून ऋतु आने के समय जलाशय में जल को एक निश्चित स्तर से नीचे बनाए रखना एक अंतर्राष्ट्रीय रूप में स्वीकार्य प्रथा है। ऐसा इसलिए है क्योंकि जब मानसून की वर्षा होती है तो अतिरेक वर्ष जल के संचयन के लिए जगह हो तथा जल को नियंत्रित रूप में छोड़ा भी जा सके। परंतु प्राधिकारी मानसून के समाप्त होने से पहले ही जलाशयों में अधिक-से-अधिक जल संचय कर लेते हैं, जिससे अधिक विद्युत् उत्पादन एवं सिंचाई सुनिश्चित की जा सके।

64.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. जलाशयों में अधिकतम जल संचयन में होने वाले भारी जोखिम, जलशक्ति परियोजनाओं पर हमारी अत्यधिक निर्भरता के कारण है।
  2. बाँधो की संग्रहण क्षमता का मानसून ऋतु के पूर्व अथवा दौरान पूर्ण उपयोग नहीं किया जाना चाहिए।
  3. भारत में बाढ़ नियंत्रण के लिए बाँधों की भूमिका को कम करके आँका गया है।
  4. उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणाए/पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. केवल 1 और 2
  2. केवल 2
  3. केवल 3
  4. 1, 2 और 3

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘जलाशय एवं मानसून’ है।

तीन विकल्पों में कथन 2 शामिल है। इसलिए पहले 2 पर ध्यान दें।

कथन 2 कहता है - “मानसून के मौसम से पहले या उसके दौरान बांधों की भंडारण क्षमता का पूरी तरह से उपयोग नहीं किया जाना चाहिए”। लेकिन परिच्छेद कहता है कि जलाशयों का उपयोग मानसून की बारिश के दौरान अतिरिक्त वर्षा जल को संग्रहित करने के लिए किया जाना चाहिए। अतः कथन 2 सही नहीं लगता है।

इसलिए, केवल विकल्प (c) सही है।

(एक अत्यंत आसान प्रश्न, विकल्प का उपयोग करके हल किया जा सकता है)

परिच्छेद-5

भारत में आर्थिक उदारीकरण का स्वरूप अधिकतम सरकार की आर्थिक समस्याओं से तय हुआ था न कि जनता की आर्थिक प्राथमिकताओं से अथवा दीर्घकालीन विकास के उद्देश्यों से। अतः, संकल्पना एवं रूपरेखा की सीमाएँ थी जो बाद में अनुभव से पुष्ट हुईं। आर्थिक उदारीकरण के प्रारंभ से रोजगार-विहीन वृद्धि, सतत गरीबी और बढ़ती असमानता समस्याओं के रूप में उभरी है। और इन सभी वर्षों के बाद में, चार मौन संकट अर्थव्यवस्था के सम्मुख खड़े हुए है; कृषि, अधोसंरचना, उद्योगीकरण एवं शिक्षा; जो देश के भावी परिदृश्य में बंधनकारक है। यदि आर्थिक वृद्धि को बनाए रखना है और उसे सार्थक विकास में रूपांतरित करना है, तो इन समस्याओं का निराकरण होना चाहिए

65.इस परिच्छेद से निम्नलिखित में से कौन-सा/से सर्वाधिक तर्कसंगत और तार्किक निष्कर्ष निकाला/निकाले जा सकता/सकते है/हैं?

  1. विकास की तलाश में यह अनिवार्य है कि राज्य की आर्थिक भूमिका पर पुनर्विचार किया जाए एवं उसे पुनर्परिभाषित किया जाए।
  2. भारत ने अपने सामाजिक क्षेत्रों में न तो नीतियों का प्रभावी निष्पादन किया और न ही उनमें पर्याप्त निवेश किया।
  3. नीचे दिए गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिए ।

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2 दोनो
  4. न तो 1, न ही 2

उत्तर (a). परिच्छेद का विषय ‘भारत में आर्थिक उदारीकरण’ है। दो प्रश्न हैं, इसलिए प्रयास करना चाहिए।

हमें यह पता लगाने के लिए कहा जाता है कि कौन सा तर्कसंगत और तार्किक निष्कर्ष है।

कथन 1 विकास की तलाश में, राज्य की आर्थिक भूमिका पर पुनर्विचार करने के बारे में बोलता है। परिच्छेद से, यह स्पष्ट है कि भारतीय उदारीकरण की प्रक्रिया सरकार की आर्थिक समस्याओं के कारण शुरू हुई थी, न कि लोगों की समस्याओं के कारण, और इसने कई डिजाइन दोषों को जन्म दिया, जो अब पूरे सेक्टरों में कई कमियों में दिखाई देते हैं।

अतः, 1 तर्कसंगत है। यदि हम समुचित विकास चाहते हैं तो राज्य की आर्थिक भूमिका को नए सिरे से परिभाषित किया जाना चाहिए। अतः उत्तर (a) या (c) हो सकता है।

कथन 2 ‘नीतियों के कार्यान्वयन’ और ‘अपर्याप्त निवेश’ के बारे में बात करता है। परिच्छेद से यह अनुमान लगाना मुश्किल है कि क्योंकि यह ज्यादातर ‘डिजाइन की संकल्पना’ के बारे में बात करता है नाकि इसके ‘कार्यान्वयन’ के बारे में। इसके अलावा ‘सामाजिक क्षेत्र’ शब्द परिभाषित नहीं है। इसलिए अंतिम उत्तर (a) है।

(एक मुश्किल देखभाल कर किए जाने वाला प्रश्न)

66.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. भारत की अर्थव्यवस्था को वैश्विक अर्थव्यवस्था से अत्यधिक समेकित करने की आवश्यकता है ताकि रोजगार का बड़ी संख्या में सृजन किया जा सके तथा इसके वृद्धि संवेग को बनाए रखा जा सके।
  2. आर्थिक उदारीकरण से बृहत् आर्थिक वृद्धि होगी जिससे दीर्घकाल में गरीबी घटेगी और रोज़गार का पर्याप्त सृजन होगा।
  3. उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2
  4. न तो 1, न ही 2

उत्तर (d). उसी सेट पर दूसरा सवाल। परिच्छेद का विषय ‘भारत में आर्थिक उदारीकरण’ है।

दोनों कथनों 1 और 2 पर एक मात्र नजर यह दर्शाती है कि दोनों बिल्कुल भी मान्य नहीं हैं।

वैश्विक अर्थव्यवस्था के साथ भारतीय अर्थव्यवस्था के एकीकरण के बारे में बात नहीं की गई है। इसमें भारत में आर्थिक उदारीकरण लाने के चालक होने की संभावित उच्च वृद्धि के बारे में भी बात नहीं की गई है (जो दूसरा कथन संकेत दे रहा है)। इसलिए 2 भी गलत है।

इसलिए उत्तर (d) है।

(एक आसान प्रश्न, जिसके लिए प्रयास किया जाना चाहिए।)

67.एक वस्तु पर, एक दुकानदार, एक ग्राहक को निम्न छूट के विकल्प देता है:

  1. 10% और 20% की क्रमिक छूट और तदुपरांत 10% सेवा कर का भुगतान
  2. 20% और 10% की क्रमिक छूट और तदुपरांत 10% सेवा कर का भुगतान
  3. पहले 10% सेवा कर का भुगतान तदुपरांत 20% और 10% की क्रमिक छूट
  4. निम्नलिखित में से कौन-सा सही है ?

  1. ग्राहक के लिए केवल 1 से सबसे अच्छा विकल्प है।
  2. ग्राहक के लिए केवल 2 सबसे अच्छा विकल्प है।
  3. ग्राहक के लिए केवल 3 सबसे अच्छा विकल्प है।
  4. ग्राह के लिए सभी विकल्प समान रूप से अच्छे हैं।

उत्तर (d). ग्राहक के लिए सभी विकल्प समान रूप से अच्छे हैं।

प्रकरण 1 - माना वस्तु की कीमत = 100, 10% की पहली छूट के बाद यह 90 होगी। 20% की दूसरी छूट के बाद यह 90 - 18 (90 का 20%) = 72 होगी और सेवाओं के कर के बाद, यह 72 - 7.2 (72 का 10%) = 64.8 हो जाएगी।

प्रकरण 2 -माना वस्तु की कीमत = 100, 20% की पहली छूट के बाद यह 80 होगी। 10% की दूसरी छूट के बाद यह 80 - 8 (80 का 10%) = 72 होगी। और सेवा कर के बाद, यह 72 - 7.2 (72 का 10%) = 64.8 हो जाएगा।

प्रकरण 3 -माना वस्तु की कीमत = 100, 10% सेवा कर के बाद यह 90 की होगी। 20% की दूसरी छूट के बाद यह 90 - 18 (20 का 90%) = 72 होगी और 10 की अंतिम छूट के बाद: यह 72 - 7.2 (72 का 10%) = 64.8 हो जाएगी।

(एक अच्छा प्रश्न, लाभ और हानि विषय पर आधारित है। प्रयास किया जाना चाहिए।)

68.A से Z तक के वर्ण 1 से 26 तक क्रमशः क्रमांकित किए गए हैं। यदि GHI = 1578 और DEF = 912 हों, तो ABC किसके बराबर है ?

  1. 492
  2. 468
  3. 262
  4. 246

उत्तर (d).

यह दिया गया है कि A र्से Z को 1 से 26 के क्रम में क्रमांकित किया गया है।

ध्यान दें कि 789 × 2 = 1578।

यह भी दिया कि DEF = 912. लेकिन दी गई कोडिंग योजना में 912 = 456 × 2 और 456 = DEF

तो तर्क ‘नंबर कोड के दोहरीकरण’ का है।

अतः सही उत्तर ABC = 123 = 246 होगा।

(कोडिंग पर थोड़ा मुश्किल सवाल, लेकिन किया जा सकता है)

69.निम्न में लुप्त पद / क्या है ?

ACPQ : BESU:: MNGI: @

  1. NPJL
  2. NOJM
  3. NPIL
  4. NPJM

उत्तर (d).

ACPQ : BESU :: MNGI : @

यहां A + 1 = B; C + 2 = E; P + 3 = S; Q + 4 = U (इसलिए ASPQ, BESU बन गया)

इसी प्रकार, M + 1 = N; N + 2 = P; G + 3 = J; I + 4 = M.

इसलिए सही विकल्प है (d) है, क्योंकि MNGI, NPJM बन जाएगा।

(कोडिंग पर एक सीधा सवाल, प्रयास किया जाना चाहिए।)

70.निम्न में कौन-सी सबसे बड़ी संख्या है ?

  1. (1/2)-6
  2. (1/4)-3
  3. (1/3)-4
  4. (1/6)-2

उत्तर (c).

(1/2)– 6 = 64;

(1/4)– 3 = 64;

(1/3)– 4 = 81;

(1/6)–– 2 = 36;

तो सही विकल्प (c) है ।

(आपको बस इतना करना है कि हर को अंश तक ले जाना है।)

निम्नलिखित 6 (छः) प्रश्नांशो के लिए निर्देश

नीचे दिए गए पाँच परिच्छेदों को पढ़िए और परिच्छेदों के नीचे आने वाले प्रश्नांशो के उत्तर दीजिए। इन प्रश्नांशो के आपके उत्तर केवल इन परिच्छेदों पर ही आधारित होने चाहिए।

परिच्छेद-1

औद्योगिक सेक्टर को मिलने वाले बैंक ऋण में संकुचन प्रारंभ हो गया है। इसमें कमी गंभीर चिंता का विषय है क्योंकि ऋण का प्रसार निवेश को पुनर्जीवित करने के लिए आवश्यक है। समस्या के उद्गम पिछले 25 वर्षों के अपूर्ण सुधारों में निहित है। 1991 के सुधारों के उपरांत बैंको के लिए समाधान निगम की स्थापना का एक संस्थागत परिवर्तन होना चाहिए था। तेजी और मंदी वाली एक बाजार अर्थव्यवस्था में बैंको को स्थापित करने एवं उन्हें असफल होने की अनुमति होनी चाहिए। आज हम बैंको को बंद नहीं कर सकते क्योंकि उन्हें बंद करने की कोई उचित व्यवसथा नहीं है। कमजोर, हानि में रहने वाले बैंको को निरंतर अधिक पूँजी की आवश्यकता होती है।

71.उपर्युक्त परिच्छेद से निम्नलिखित में से कौन-सा सर्वाधिक तार्किक और तर्कसंगत निष्कर्ष निकाला जा सकता है।

  1. भारतीय बैंकिंग व्यवस्था देश की आर्थिक विकास में मदद नहीं कर पा रही है।
  2. 1991 में प्रारंभ किए गए आर्थिक सुधारों ने अर्थव्यवस्था के अपेक्षित स्तर तक सुधार में सहायता नहीं की है।
  3. भारत में बैंको की असफलता से निपटने के लिए संस्थागत प्रक्रिया नहीं है।
  4. औद्योगिक सेक्टर में विदेशी निवेश को प्रोत्साहन देना उस सेक्टर के बैंक ऋण के ऊपर निर्भरता का एक अच्छा विकल्प है।

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘असफल होते बैंक एवं समाधान प्रक्रिया’ है।

यह परिच्छेद भारतीय बैंकिंग प्रणाली की संरचना की सीमाओं पर केंद्रित है, क्योंकि बैंकों को विफल होने की अनुमति नहीं है, और इसके लिए कोई औपचारिक समाधान प्रक्रिया नहीं है।

विकल्प (a) बहुत व्यापक है।

विकल्प (b) बहुत सामान्यीकृत है।

विकल्प (c) सटीक है और वास्तविक निष्कर्ष हम खींच सकते हैं।

विकल्प (d) अप्रासंगिक है।

(एक आसान सवाल, करना चाहिए)

परिच्छेद-2

भारत में सौर ऊर्जा की विशाल संभावना है। हम सभी यह अनुभव करते हैं हैं कि हमें अपनी ऊर्जा प्राप्त करने के लिए फॉसिल इंधनों को जलाना रोकना होगा। परंतु कुछ नवीकरणीय संसाधन वांछित उत्पादन-स्तर को प्रापत करने के लिए अभी भी अपने लागत वक्रों एवं प्रवीणता वक्रों से गुजर रहे हैं। भारत सरकार 2030 तक उत्सर्जन को 33 प्रतिशत कम करने के अपने लक्ष्य से दृढ़ रूप से प्रतिबद्ध है तथा उस दिशा में उसने गैस पर आधारित अर्थव्यवस्था को एक सशक्त प्रोत्साहन दिया है और नवीकरणीय ऊर्जा में भारी निवेश भी किया है। परंतु व्यापारी घराने, ऐसे समय में जब तकनीक अभी तक तैयार नहीं है, नवीकरणीय ऊर्जा में भारी निवेश करने में हिचकिचा रहे हैं।

72.उर्पुक्त परिच्छेद से निम्नलिखित में से कौन-सा सर्वाधिक तार्किक और तर्कसंगत निष्कर्ष निकाला जा सकता है ?

  1. उत्सर्जन को 33% घटाने की भारत की प्रतिबद्धता को प्राप्त करना चाहिए।
  2. भारत को नवीकरणीय संसाधनों में निवेश करने के बजाय गैस का आयात करना चाहिए।
  3. नवीकरणीय संसाधनों केा बहुत जल्दी बाजार में लाना महँगा हो सकता है।
  4. भारत को प्राकृतिक गैस की खोज में अधिक प्रयत्न करना चाहिए।

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘भारत की उत्सर्जन को कम करने और नवीकरण को अपनाने की प्रतिबद्धता’ है।

परिच्छेद कहता है कि, भारत में सौर ऊर्जा की क्षमता है। हमने ऊर्जा के नवीकरणीय स्रोतों में बदलाव का फैसला किया है, लेकिन वे महंगे और तकनीकी रूप से परिपूर्ण नहीं हैं। भारत सरकार 2030 तक उत्सर्जन को 33% तक कम करने के लिए प्रतिबद्ध है और इसके लिए उसने गैस-आधारित अर्थव्यवस्था और नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्रों में प्रयास किए हैं। घरेलू व्यवसाय, प्रौद्योगिकी की कमी के कारण नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों में निवेश करने के लिए अनिच्छुक हैं।’

परिच्छेद नवीकरणीय स्रोतों पर गैस की तुलना प्रदान नहीं करता है, और निश्चित रूप से यह नहीं कहता है कि नवीकरण पर गैस को प्राथमिकता दी जानी चाहिए। इसलिए (b) को स्पष्ट रूप से खारिज किया जा सकता है।

इसी तरह, विकल्प (d) एक नीति पर्चे की तरह लगता है जिसके बारे में परिच्छेद में बात नही की गई है।

अतः (a) एवं (c) के मध्य एक कठिन चयन है। हम (c) के साथ जाएंगे।

(एक कठिन प्रश्न।)

73.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. सरकार प्रायः ऐसी तकनीक पर अक्षम एवं महँगी आर्थिक सहायता देती है जो निकट भविष्य के लिए तैयार नहीं हो सकती।
  2. 2030 तक उत्सर्जन में 33% कटौती की भारत की प्रतिबद्धता गैस-आधारित अर्थव्यवस्था पर निर्भर होगी।

उपुर्यक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2 दोनो
  4. न तो 1, न ही 2

उत्तर (d). उसी परिच्छेद पर दूसरा प्रश्न। परिच्छेद का विषय ‘भारत की उत्सर्जन को कम करने और नवीकरण को अपनाने की प्रतिबद्धता’ है।

परिच्छेद आर्थिक सहायता के बारे में बात नहीं करता हैं। वास्तव में यह व्यापारियों से निवेश की बात कर रहा है। तो कथन 1 को खारिज किया जा सकता है। तो विकल्प (a) एवं (c) को खारिज किया जा सकता है।

कथन 2 केवल थोड़ा सही है, क्योंकि यह लगभग एक अग्रगामी निष्कर्ष जैसा लगता है। यह 2020 है, और हम 2030 के बारे में बात कर रहे हैं। इसलिए इस बीच चीजें बदल सकती हैं। तो, 2 पूरी तरह से सही नहीं हो सकता है।

इसलिए हम 2 को भी अस्वीकार कर सकते हैं। इसलिए उत्तर (d) है।

(एक कठिन प्रश्न)

परिच्छेद-3

जीनोम संपादन, जीनोम रूपांतरण से भिन्न है। जीनोम संपादन विषेष रूप से पादप जीनोम के उस भाग का पता लगाने से संबंधित है, जिसको परिवर्तित किया जा सके जिससे रोग की भेद्यता कम की जा सके या कुछ शाकनाशियों के विरूद्ध प्रतिरोधी बनाया जा सके या उत्पादकता बढ़ाई जा सके। शोधकर्ता जीनोम का विच्छेदन करने के लिए 'अण्विक कैंची' का उपयोग करते हैं और इसकी मरम्मत करते हैं जो कि पादपों में होने वाली वह प्राकृतिक प्रक्रिया है, जो पादप रोगों के आक्रमण के अधीन होने पर नए उत्परिवर्तनों को उत्पन्न कर सकती है, जो कि उस पादप को भविष्य में होने वाले आक्रमणों से बचे रहने में सक्षम बनाता है। जब जबकि प्रयोगशालाओं में पादप जीनोम का विस्तार से परीक्षण करना संभव है और संगत जीनों को सुस्पष्ट रूप में परिवर्तित करने की क्रियाविधि का सृजन किया जा सकता है, इस विकास प्रक्रिया में प्रभावी रूप से तेजी लाई जा सकती है।

74.उपर्युक्त परिच्छेद के संदर्भ में, निम्नलिखित पूर्वधारणाएँ बनाई गई है:

  1. जीनोम संपादन में एक पादप से दूसरे पर जीनों के स्थानांतरण की आवश्यकता नहीं है।
  2. जीनोम संपादन के द्वारा चुनी हुई जीनों को सही रूप में एक प्राकृतिक प्रक्रिया के रूप में परिवर्तित किया जा सकता है जिससे पौधों को पर्यावरण तत्वों के साथ अनुकूलित होने में सहायता मिलती है।

उपर्युक्त में से कौन-सी पूर्वधारणा/पूर्वधारणाएँ वैध है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2
  3. 1 और 2 दोनो
  4. न तो 1, न ही 2

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘जीनोम संपादन’ है।

दोनों धारणाएँ मान्य हैं।

कथन 1 से स्पष्ट होता है कि शोधकर्ता जीन को विच्छेदित करने और उसकी मरम्मत करने के लिए ’आण्विक कैंची’ का उपयोग करते हैं।’’

कथन 2 परिच्छेद के सार की तरह दिखता है। यह सही है।

इसलिए उत्तर (c) है।

(एक बहुत आसान प्रश्न)

परिच्छेद-4

बहुत-से लोग ठोस अपशिष्ट प्रबंधन एवं स्वास्थ्य का संबंध ठोस कचरे के उपेक्षित ढेर के परिणाम के रूप् में समझते हैं जो मक्खियों और कीड़े-मकोड़ों का घर बनते हैं। किन्तु एक दूसरा पक्ष भी है जिसे सही रूप में समझा नहीं जाता, कि क्या परिणाम होता है जब अवैज्ञानिक ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के साथ ही जल-निकास व्यवस्था खराब होती है और असंसाधित मल-जल को बारिश के पानी को ले जाने वाले नालों में छोड़ दिया जाता है। उसका परिणाम होता है नालों का अवरूद्ध हो जाना जिनमें रूका हुआ पानी भरा रहता है, मच्छर पैदा होते हैं तथा जल-जनित रोग फैलते हैं।

75.भारत के संदर्भ में, निम्नलिखित में से कौन-सा कथन परिच्छेद के क्रांतिक संदेश का सर्वेत्तम प्रेषण करता है ?

  1. भारत में जल-निकासी तंत्र बारिश के पानी एवं मल-जल के लिए अलग-अलग नहीं है।
  2. शहरी स्थानीय निमायों के पास अपशिष्ट प्रबंधन की समस्याओं से निपटने के लिए पर्याप्त संसाधन एवं विधायी शक्तियाँ नहीं है।
  3. ठोस अपशिष्ट प्रबंधन को जल-निकासी और मल-जल निकासी तं के अनुरक्षण के साथ एकीकृत किया जाना चाहिए।
  4. हमारी नगरपालिकाओं द्वारा ठोस अपशिष्ट एवं मल-जल प्रणालियों का खराब प्रबंधन हमारे शहरों में पेय जल की कमी के जिए जिम्मेदार है।

उत्तर (c). परिच्छेद का विषय ‘ठोस अपशिष्ट प्रबंधन’ है।

यह परिच्छेद शहरी स्थानीय निकायों के संसाधनों और ‘पेयजल की कमी’ के बारे में बात नहीं करता है, इसलिए (b) और (d) को खारिज किया जा सकता है।

(a) और (c) के मध्य, विकल्प (c), परिच्छेद में दिए गए वाक्यांश (जब अवैज्ञानिक ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के साथ ही जल-निकासी व्यवस्था खराब होती है .. ’। तो सही उत्तर विकल्प (c) है।

(एक आसान प्रश्न प्रयास किया जाना चाहिए।)



परिच्छेद-5

संविधान के भाग III में, जो जनसाधारण को कुछ मौलिक अधिकारों के प्रति आश्वस्त करता है, अनुच्छेद 25 उद्घोषणा करता है कि "सभी व्यक्तियों को अंतःकरण की स्वतंत्रता का और धर्म के अबाध रूप से मानने, आचरण करने और प्रचार करने का समान हक़ होगा'' , लेकिन जिस बात पर लोग प्रायः ध्यान नहीं देते हैं वह है इस उद्घोषणा का इन शब्दों वाला उपसर्ग, "लोक व्यवस्था, सदाचार, स्वास्थ्य तथा इस भाग के अन्य उपबंधो के अधीन रहते हुए"। यह उपसर्ग किसी समुदाय के धार्मिक आचरण की इस प्रारंभिक शर्त के अंतिम शब्द वस्तुतः एक अधीनस्थ खण्ड की संरचना करते हैं जिसके अनुसार भाग III में वर्णित अन्य मौलिक अधिकारों को धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकार के ऊपर प्रधानता मिलती है। उन अन्य मौलिक अधिकारों में विधि के समक्ष समता का अधिकार और स्वयं विधियों के भी समान संरक्षण का अधिकार है - जिनका प्रारंभ में ही आश्वासन है तथा बाद के अनुच्छेदों में इस अर्थ के साथ विस्तार है कि, अन्य बातों के साथ, राज्य किसी भी व्यक्ति या व्यक्तियों के समूह को केवल धर्म के आधार पर विधियिों के समान संरक्षण से वंचित नहीं करेगा।

76.उपर्युक्त परिच्छेद का सर्वाधिक तार्किक निष्कर्ष क्या है?

  1. राज्य नागरिकों के धार्मिक मामलों में हस्तक्षेप नहीं करेगा।
  2. संविधान में दी गई धार्मिक स्वतंत्रता में राज्य हस्तक्षेप कर सकता है।
  3. नागरिकों की धार्मिक स्वतंत्रता मौलिक अधिकारों के दायरे में नहीं आती।
  4. किसी भी समुदाय के धार्मिक आचरण राज्य के कानूनों से प्रतिरक्षित है।

उत्तर (b). परिच्छेद का विषय ‘संविधान की धारा 25 के अंर्तगत धर्म की स्वतंत्रता’ है।

परिच्छेद कहना चाहता है कि हमारा संविधान कुछ शर्तों के साथ धार्मिक स्वतंत्रता का मौलिक अधिकार प्रदान करता है। यदि यह किसी भी तरह से समाज के लिए हानिकारक है, तो राज्य हस्तक्षेप कर सकता है।

विकल्प (c) और (d) दोनों चरम हैं और तुरंत अस्वीकार किए जा सकते हैं।

विकल्प (a) सही नहीं है।

(अपेक्षाकृत आसान प्रश्न)

77.शब्द 'DELHI' के सभी अक्षरों का प्रयोग करते हुए कितने विभिन्न 5-अक्षरी शब्द (जिनका कोई अर्थ हो या न हो) बनाए जा सकते हैं, जबकि प्रत्येक शब्द क् के साथ शुरू होता है और प् के साथ समाप्त होता है।

  1. 24
  2. 18
  3. 12
  4. 6

उत्तर (d).

D _ _ _ I

हमारे पास तीन स्थान हैं और तीन अक्षर E, H, L हैं जिन्हें 3! = 6 तरिकों से व्यवस्थित किया जा सकता है।

अतः सही विकल्प (d) है। यह क्रमचय एवं संयोजन का एक प्रश्न है। यदि आप इस विषय को नहीं जानते हैं, तो आप इसे मैन्युअल रूप से करने का प्रयास कर सकते हैं, जिसमें कुछ समय लग सकता है।

(एक आसान सवाल अगर आपको विषय पता था।)

78.एक बोतल में द्रव । की 20 लीटर मात्रा है। इसमें से द्रव A की 4 लीटर मात्रा बाहर निकाल दी जाती है और द्रव B की उतनी ही मात्रा वापस डाल दी जाती है और फिर से मिश्रण की 4 लीटर मात्रा बाहर निकाल दी जाती है और द्रव B की उतनी ही मात्रा वापस डाल दी जाती है। अंतिम मिश्रण में द्रव A की मात्रा का द्रव B की मात्रा से अनुपात क्या है ?

  1. 4 : 1
  2. 5 : 1
  3. 16 : 9
  4. 17 : 8

उत्तर (c). शॉर्ट-कट - क्रमिक प्रतिस्थापन का मामला - यदि किसी अन्य तरल की y इकाइयाँ मूल तरल की x इकाइयों में डाल दी जाती है एवं ऐसा n बार किया जाता है तो n ऑपरेशन के बाद मूल तरल की मात्रा का अनुपात तरल की कुल मात्रा से अनुपात = ((x-y)/x)^n.

हमारे मामले में, x = 20, y = 4, n = 2.

तो 2 ऑपरेशन के अंत में तरल । की मात्रा का तरल की कुल मात्रा से अनुपात =


इसका अर्थ है कि कुल 25 इकाइयों में से 16 इकाइयाँ तरल A है और तरल B, 25 - 16 = 9 इकाइयाँ है।

इसलिए वांछनीय अनुपात 16: 9 है।

(सूत्र जानने से इसमें बहुत मदद मिलती है।)

79.एक बल्लेबाज का उसकी 50वीं पारी के बाद औरसत स्कोर 46.4 था। 60वीं पारी के बाद, उसका औसत स्कोर 2.6 बढ़ जाता है। पिछली दस पारियों में उसका औसत स्कोर क्या था ?

  1. 122
  2. 91
  3. 62
  4. 49

उत्तर (c).

नियमित विधि - 50 पारियों का औसत = 46.4।

50 पारियों का योग = 50 × 46.4 = 2320 …(i)

60 पारियों का औसत = 46.4 + 2.6 = 49

60 पारियों का योग = 60 × 49 = 2940 …(ii)

इसलिए पिछली दस पारियों में रन बनाए = 2940 - 2320 = 620।

औसत = 620/10 = 62. तो सही विकल्प (c) है।

शॉर्ट-कट - पिछली दस पारियों में बनाए गए रन सभी 60 पारियों के औसत को बढ़ाते हैं। इसका मतलब है कि पिछली दस पारियों में 2.6 × 60 अधिक रन बनाए गए थे।

इसलिए, पिछली दस पारियों में कुल रन = 10 × 46.4 (पिछले औसत) + अतिरिक्त रन, जो सभी 60 पारियों के औसत में वृद्धि का कारण बने

= (10 × 46.4) + (2.6 × 60) = 464 + 156 = 620.

अतः वांछनीय औसत 620/10 = 62।

(औसत पर एक आधारित एक कठिन प्रश्न, जिसे हल करने के पहले दौर में टाला जा सकता है।)

80.चावल के प्रति किलो मूल्य में 25% की वृद्धि के परिणामस्वरूप, एक व्यक्ति रू. 1,200 में 6 किलो कम चावल खरीद पाता है। चावल का प्रति किलो प्रारंभिक मूल्य क्या था?

  1. रू. 30
  2. रू. 40
  3. रू. 50
  4. रू. 60

उत्तर (b).

सीधे विकल्पों से शुरुआत करें।

विकल्प (a) - 30 रु। इसमें 25% की वृद्धि और यह रु 37.5 प्रति किलोग्राम हो गया। मूल रूप से एक (1200/30) = 40 किलो चावल खरीद सकता था और अब एक (1200 / 37.5) = 32 किलो खरीद सकता है। अंतर 8 किलो है और 6 किलोग्राम नहीं है।

विकल्प (b) - 40 रु। इसमें 25% की बढ़ोतरी हुई और यह 50 रुपये प्रति किलोग्राम हो गया। मूल रूप से एक (1200/40) = 30 किलो चावल खरीद सकते थे और अब एक (1200/50) = 24 किलो खरीद सकते हैं। अंतर 6 किलो है एवं हमारा सही उत्तर विकल्प (b) होगा।

अन्य विधि - माना कि वास्तविक मूल्य P है। अतः नया मूल्य 1.25P

पहले खरीदे गए सामान की मात्रा = 1200/ P kg.

बाद में खरीदे गए सामान की मात्रा = 1200 / 1.25P kg

अंतर = 6 kg = 1200/P – 1200/1.25P.

P के लिए हल करें।

(एक मुश्किल प्रश्न जिसे विकल्पों द्वारा हल किया जा सकता था।)






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